September 8, 2024
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7 दिन बाद भी BJP से नहीं हुआ नाम तय! कटारिया के बाद कौन होगा प्रतिपक्ष

  • WRITTEN BY: Amisha Singh
  • LAST UPDATED : February 20, 2023, 3:57 pm IST

जयपुर: भाजपा नेता गुलाब चंद कटारिया राजस्थान में मेवाड़ के एक मजबूत नेता के तौर पर देखे जाते हैं। गुलाब चंद कटारिया को असम के भाजपा राज्यपाल के रूप में नियुक्त किया गया था जिसके बाद विधानसभा में विपक्ष के नेता का पद खाली हो गया था। गुलाब चंद कटारिया अब 22 फरवरी को असम के गुवाहाटी में राज्यपाल पद की शपथ ले सकते हैं, लेकिन विधानसभा में विपक्ष के नेता पद के लिए अभी तक कोई नेता तय नहीं हुआ है, जिस पर काफी चर्चा चल रही है। बीजेपी ने 7 दिन बाद भी सदन के नेता के नाम का खुलासा नहीं किया है।

बैठक 27 फरवरी के लिए टाली गई

गौरतलब है कि राजस्थान विधानसभा में इस समय बजट सत्र चल रहा है जहाँ विपक्ष के नेता सदन के कामकाज में अहम भूमिका निभाते हैं। ऐसा माना जा रहा है कि नेता प्रतिपक्ष का नाम तय नहीं होने का एक मुख्य कारण भाजपा में गुटबाजी भी हो सकती है, लेकिन फिलहाल बैठक 27 फरवरी के लिए टाल दी गई है और बैठक अब 28 की सुबह 11 बजे शुरू होगी। ऐसा भी कहा जा रहा है कि तब तक भाजपा को विधानसभा में विपक्ष का नया नेता मिल सकता है।

 

सात दिन बाद भी कोई नाम तय नहीं

आपको बता दें कि, हाईकमान चुनाव से पहले राजस्थान में भाजपा नेताओं के बीच गुटबाजी को पूरी तरह से खत्म करना चाहता है, ऐसे में गुटबाजी एक मुख्य कारण हो सकता है कि भाजपा नेता का नाम विपक्ष में क्यों तय नहीं किया जा सका है। वहीं नेता प्रतिपक्ष के बनाए चेहरे से भाजपा के सीएम के दावेदार का भी संकेत मिलेगा, ऐसे में भाजपा नेता प्रतिपक्ष के नाम पर मुहर लगाने में समय ले रही है और हाईकमान से फाइनल तय हो जाने के बाद नाम का खुलासा किया जाएगा। जानकारों का यह भी कहना है कि बीजेपी की ओर से जो भी विधायक विपक्ष के नेता की कुर्सी पर बैठेगा, पार्टी में उसका ओहदा बढ़ेगा और आगामी चुनावों में वह अहम भूमिका भी निभा सकता है।

 

मामला समीकरणों में उलझा हुआ है!

वहीं राजस्थान में जाट और राजपूत दो जातियों के वोट बैंक का चुनाव पर खासा असर पड़ता है। ऐसे में राजेंद्र राठौड़ और सतीश पूनिया में से किसी भी नाम पर आलाकमान की मुहर लग सकती है। मालूम हो कि चुनावी साल में बीजेपी राज्यों में जातिगत समीकरणों के लिहाज से लिए गए फैसले भी हैरान करने वाले के होते हैं, ऐसे में किसी भी विधायक का नाम भी सामने आ सकता है।

 

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