नई दिल्ली: अखिलेश यादव रविवार, 21 जुलाई को पश्चिम बंगाल में शहीद दिवस कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे थे. जहां उन्होंने जमकर केंद्र सरकार पर हमला बोला. अखिलेश यादव का पश्चिम बंगाल का दौरा कई मायनों में अहम बताया जा रहा है. ममता-अखिलेश ने शेयर किया मंच ममता बनर्जी प्रतिवर्ष 21 जुलाई का दिन शहीद […]
नई दिल्ली: अखिलेश यादव रविवार, 21 जुलाई को पश्चिम बंगाल में शहीद दिवस कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे थे. जहां उन्होंने जमकर केंद्र सरकार पर हमला बोला. अखिलेश यादव का पश्चिम बंगाल का दौरा कई मायनों में अहम बताया जा रहा है.
ममता बनर्जी प्रतिवर्ष 21 जुलाई का दिन शहीद दिवस के रूप में मनाती हैं, जब वो साल 1993 में कांग्रेस की यूथ विंग की प्रेसीडेंट थीं, उस समय प्रदर्शन के दौरान उनके 13 कार्यकर्ताओं की मौत हो गई थी तबसे ममता बनर्जी इस दिन को शहीद दिवस के रूप में मनाती आ रही हैं. रविवार को हुए शहीद दिवस कार्यक्रम में ममता बनर्जी और अखिलेश यादव ने मिलकर विपक्ष पर हमला बोला. जहां एक ओर अखिलेश यादव ने कहा कि दिल्ली की सरकार स्थिर नहीं है वो जल्द ही गिरने वाली है और हम सबके अच्छे दिन आने वाले हैं. अखिलेश की बात का समर्थन करते हुए ममता बनर्जी ने भी हां में हां मिलाई और कहा अखिलेश ने उत्तर प्रदेश में खेल कर दिया.
ममता बनर्जी की पार्टी टीएमसी इंडिया गठबंधन की तीसरी सबसे अधिक सांसदों वाली पार्टी है. लोकसभा चुनाव 2024 में टीएमसी और कांग्रेस पार्टी के बीच तकरार की खबरें खूब सुनने को मिल रही थीं. दोनों पार्टियों ने बंगाल में एक-दूसरे के खिलाफ अपने उम्मीदवार उतारे थे. ममता बनर्जी ने कांग्रेस से पहले ही साफ कर दिया है कि उनका गठबंधन केंद्र स्तर पर ही है. राज्य चुनाव में वो अकेले ही मैदान में उतरेगी. उनका सीधा इशारा पश्चिम बंगाल में साल 2026 में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर था. ममता बनर्जी की पार्टी टीएमसी और कांग्रेस के बीच बढ़ती तल्खियों को कम करने के लिए ही अखिलेश यादव शहीद दिवस रैली में पहुंचे थे. ममता की रैली में जाने का एक और कारण ये भी है कि भाजपा को दिखाना है कि विपक्ष में कोई दरार नहीं है वो पूरी तरह एकजुट होकर सामना करने को तैयार है.
सूत्रों के हवाले से खबर है कि अखिलेश यादव नहीं चाहते कि इंडिया गठबंधन में किसी तरह की फूट पड़े इसीलिए वो अपनी तरफ से कांग्रेस-टीएमसी को पास लाने की भरसक कोशिश कर रहे हैं. यदि 2026 में टीएमसी की सरकार बनती है तो इससे इंडिया गठबंधन को मजबूती मिलेगी और साल 2027 में होने वाले विधानसभा चुनाव में अखिलेश यादव को भी फायदा मिलेगा.
अखिलेश यादव और ममता बनर्जी का एकसाथ एक मंच पर आना कई मायनों में बड़ी बात है. अखिलेश यादव और ममता बनर्जी के बीच अच्छे रिश्ते हैं. लोकसभा चुनाव 2024 में अखिलेश यादव ने उत्तर प्रदेश की भदोही लोकसभा सीट टीएमसी को दी थी हालांकि टीएमसी इस सीट पर चुनाव जीतने में सफल नहीं हो पाई थी. उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 में ममता बनर्जी ने भी अखिलेश के लिए रैली की थी.
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