फ्रांस्वा ओलांद के बयान के बाद केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर हमलावर कांग्रेस राफेल डील में घोटाले के आरोप लगाकर केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) पहुंची. इससे पहले कांग्रेस ने नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) से इस डील की जांच की मांग की थी.
नई दिल्ली. राफेल डील पर सत्तारुढ़ बीजेपी पर हमलावर कांग्रेस सीएजी के बाद अब केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) कार्यालय पहुंची. कांग्रेस ने रफाल डील में घोटाले का आरोप लगाकर सतर्कता आयोग से इसकी जांच कराने की मांग की. इससे पहले कांग्रेस नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) कार्यालय पहुंची थी. कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने सीएजी से अनुरोध किया था कि वे राफेल डील में कथित अनियमितताओं पर अपनी रिपोर्ट तैयार कर उसे संसद में पेश करें.
मंगलवार को केंद्रीय सतर्कता आयोग पहुंचे कांग्रेस के दल ने मांग की है कि राफेल सौदे में अनियमितताओं पर प्राथमिकी दर्ज कर इसकी जांच करें. कांग्रेस ने केंद्रीय सतर्कता आयुक्त को मेमोरेंडम सौंपते हुए कहा कि कानून के अनुसार सरकार डील की पूरी जानकार सीवीसी को दे सकती है. ऐसे में सीवीसी का कर्तव्य है कि वे इस मामले की हर तरह से जांच करें कि किसको इसमें फायदा पहुंचाया गया, किसका पक्ष सरकार द्वारा लिया गया और इसकी कीमत जायज है आदि.
केंद्रीय सतर्कता आयुक्त से मिलने के बाद कांग्रेस नेता आनंद शर्मा ने कहा कि इस डील के जरिए राजस्व को नुकसान पहुंचाया गया है. इतना ही नहीं, अपने कुछ कारोबारी दोस्तों को फायदा पहुंचाने के लिए हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) को नजरअंदाज कर राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरे में डालने का काम किया गया है. ऐसे में सीवीसी का दायित्व बनता है कि वह जांच करे कि इस सौदे से किसको फायदा पहुंचाया गया, किन नियमों का उल्लंघन किया गया. साथ ही क्रोनी कैपिटलिज्म के एंगल से भी जांच की जाए.
सीवीसी के पास पहुंचे कांग्रेस के शिष्टमंडल में अहमद पटेल, आनंद शर्मा, गुलाम नबी आजाद, कपिल सिब्बल, रणदीप सुरजेवाला, अभिषेक मनु सिंघवी, जयराम रमेश, मनीष तिवारी आदि शामिल रहे. बता दें कि राफेल डील को लेकर कांग्रेस लंबे समय से केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर हमलावर है. फ्रांस के पूर्व राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद के बयान के बाद कांग्रेस ने हमला तीव्र कर दिया है. दरअसल ओलांद ने कहा था कि भारत सरकार के कहने पर रिलायंस को ऑफसेट कंपनी के तौर पर चुना गया, इसके अलावा हमें कोई विकल्प नहीं दिया गया था.
A delegation of Congress has met with Central Vigilance Commission (CVC), submitted a detailed memorandum on #Rafale jet purchase scam. We have demanded CVC to take cognizance, to seize all files and documents and register an FIR: Anand Sharma, Congress pic.twitter.com/DRxc5fD520
— ANI (@ANI) September 24, 2018