लखनऊ. उत्तर प्रदेश चुनावों में फिर से झंडा लहराने के लिए समाजवादी पार्टी कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती. पार्टी अभी से प्रचार अभियान की तैयारियों में जुट गई है. कांग्रेस के राजनीतिक रणनीतिकार प्रशांत किशोर को टक्कर देने के लिए पार्टी ने अब विदेश से राजनीतिक सलाहकार स्टीव जार्डिंग को मैदान में उतारा है.
यूपी में सत्ताधारी समाजवादी पार्टी अपने चुनाव प्रचार अभियान को प्रभावी बनाने के लिए विश्व के जानेमाने राजनीतिक सलाहकार स्टीव जार्डिंग की सेवाएं ले रही है. वह यूपी में ही रहकर सपा के लिए आगामी चुनावों की रणनीति तैयार कर रहे हैं.
बता दें कि हार्वर्ड यूनिवर्सिटी के जार्डिंग अमेरिका में डेमोक्रेटिक पार्टी की राष्ट्रपति उम्मीदवार हिलैरी क्लिंटन और पूर्व अमेरिकी उप राष्ट्रपति और स्पेन के प्रधानमंत्री के लिए भी चुनावी अभियान की कमान संभाल चुके हैं.
कल्याणकारी योजनाओं के प्रचार पर जोर
जार्डिंग हार्वर्ड केनेडी स्कूल में पब्लिक पॉलिसी पढ़ाते हैं और एक कैंपेनर, मैनेजर, राजनीतिक सलाहकार और रणनीतिकार के तौर पर वर्ष 1980 से काम कर रहे हैं. जार्डिंग सपा को पहले से ही कई मुद्दों पर सलाह दे रहे थे लेकिन अब उन्हें आधिकारिक तौर पर शामिल कर लिया गया है.
लोगों के बीच सपा की पकड़ मजबूत बनाने के लिए जार्डिंग ने सबसे पहले सरकार की कल्याणकारी योजनाओं के प्रचार अभियान को पुन: डिजाइन किया. विद्या बालन को समाजवादी पेंशन योजना के विज्ञापन में लाया गया.
हर क्षेत्र पर देंगे विशेष ध्यान
एक अंग्रेजी अखबार से बातचीत में जार्डिंग ने कहा कि समाजवादी पार्टी की पेंशन योजना की पहुंच कई जगहों तक हैं लेकिन समस्या यह है कि इसके लाभ ले रहे लोगों को यह पता ही नहीं कि यह योजना राज्य की है या केंद्र की. इसलिए उन्होंने सरकारी योजनाओं के प्रचार का सुझाव दिया है.
अखिलेश सरकार की छवि चमकाने के लिए जार्डिंग लखनऊ में ही मौजूद हैं. वह जमीनी स्तर पर पार्टी की पकड़ मजबूत करने की कोशिश कर रहे हैं. जार्डिंग का कहना है कि राज्य के युवा मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से बेहद प्रभावित हैं.
उन्होंने अपनी रणनीति पर बात करते हुए कहा कि भारत के सबसे बड़े राज्य के तौर पर उत्तर प्रदेश में एक ही घोषणापत्र काम नहीं आ सकता. जैसे गन्ने का सही भुगतान न होना पश्चिमी यूपी का मसला हो सकता है लेकिन बुंदेलखंड का नहीं. इसलिए सपा को हर क्षेत्र के लिए अलग कार्यक्रम तैयार करना होगा. साथ ही जार्डिंग सपा उम्मीदवारों को अपने विधासभा क्षेत्र में लोगों से कैसे जुड़ें और अपनी बात कहें, इसका भी प्रशिक्षण दे रहे हैं.