नई दिल्ली. हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर का कहना है कि खाप पंचायतें समाज सुधार के लिए बहुत जरुरी संस्थाएं हैं. उन्होंने कहा कि कुछ गलतियों के कारण उन्हें पूरी तरह से नकारा नहीं जा सकता. पंचायतों की अपनी ताकत है, उन पर बैन लगाने का कोई सवाल ही नहीं उठता.
पिछले 800 सालों से हैं खाप पंचायतें
मुख्यमंत्री ने कहा कि इनका गठन सरकार द्वारा नहीं किया गया है. ये खाप पंचायतें पिछले 800 सालों से हैं. इन पंचायतों को उन्हीं इलाकों के लोगों ने बनाया था. उन्होंने दहेज व्यवस्था के खिलाफ खड़े होने, बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ और लैंगिक अनुपात जैसे मुद्दों के खिलाफ आवाज उठाने समेत विभिन्न समाज सुधार के काम किए हैं.
खाप एक बड़ी पंचायत है
उन्होंने कहा कि मैं यह महसूस करता हूं कि ये समाज की उपयोगी संस्थाएं हैं. ऐसा नहीं है कि वे किसी गलत काम में शामिल रही है. खाप एक बड़ी पंचायत है. उत्तर भारत के विभिन्न इलाकों में संचालित खाप पंचायतें समय समय पर कथित रूप से ‘ऑनर किलिंग’ और ‘अजीबोगरीब फरमानों’ को लेकर सुखिर्यों में रही हैं, जिनकी विभिन्न पक्षों द्वारा आलोचना भी की गई है लेकिन इस पंचायत की अपनी ताकत है.