National Science Day: 28 फरवरी को ही क्यों मनाते हैं राष्ट्रीय विज्ञान दिवस? जानिए वजह

नई दिल्ली। आज के दिन यानी 28 फरवरी को हर साल नेशनल साइंस डे मनाया जाता है। 28 फरवरी 1928 के दिन भारतीय भौतिक वैज्ञानिक चंद्रशेखर वेंकट रमन ने एक महत्वपूर्ण खोज की थी, जिसे रमन इफ़ेक्ट नाम दिया गया। इस खोज के लिए सीवी रमन को नोबल पुरस्कार से भी नवाजा गया था। क्या […]

Advertisement
National Science Day: 28 फरवरी को ही क्यों मनाते हैं राष्ट्रीय विज्ञान दिवस? जानिए वजह

Vaibhav Mishra

  • February 28, 2023 2:46 pm Asia/KolkataIST, Updated 2 years ago

नई दिल्ली। आज के दिन यानी 28 फरवरी को हर साल नेशनल साइंस डे मनाया जाता है। 28 फरवरी 1928 के दिन भारतीय भौतिक वैज्ञानिक चंद्रशेखर वेंकट रमन ने एक महत्वपूर्ण खोज की थी, जिसे रमन इफ़ेक्ट नाम दिया गया। इस खोज के लिए सीवी रमन को नोबल पुरस्कार से भी नवाजा गया था।

क्या है नेशनल साइंस डे की महत्ता?

भारतीय वैज्ञानिकों के योगदान को याद करते हुए आज के दिन हर साल नेशनल साइंस डे मनाया जाता है। आपको बता दें कि 28 फरवरी 1928 को सीवी रमन ने अपने खोज में बताया कि जब प्रकाश किसी ट्रांसपेरेंट वस्तु के बीच से गुजरता है तो प्रकाश का कुछ हिस्सा डिफलेक्ट होता है और वेब लेंथ में बदलाव होता है। उनकी इसी खोज को ‘रमन इफेक्ट’ नाम दिया गया। सीवी रमन ने यह खोज वैज्ञानिक केसी कृष्णन के साथ की थी। इस खोज के लिए सीवी रमन को 1930 में नोबल पुरस्कार मिला था।

राष्ट्रीय विज्ञान दिवस पर कार्यक्रम

नेशनल साइंस डे के दिन स्कूल, कालेजों, यूनिवर्सिटीज और अन्य बड़े संस्थाओं में तरह-तरह के कार्यक्रम को आयोजित किया जाता है। स्कूल, कॉलेजों द्वारा स्पीच, डिबेट, एग्जिबीशन, कम्पटीशन जैसे कार्यक्रम का आयोजन कराया जाता है। वहीं, रेडियो और टीवी पर विज्ञान सम्बंधित कार्यक्रम प्रसारण होता है, इसके साथ ही पब्लिक स्पीच कार्यक्रम का भी आयोजन होता है।

सीवी रमन का विज्ञान में योगदान

प्रोफेसर सीवी रमन को रमन इफ़ेक्ट की खोज के लिए 1930 में नोबेल पुरस्कार से नवाजा गया। साल 1943 में उन्होंने बेंगलुरु में रमन इंस्टिट्यूट सेंटर की नीव रखी। जिसके बाद साल 1954 में उन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया। 1957 में उन्हें लेनिन पुरस्कार से भी नवाज़ा गया था। इसके साथ ही 28 फरवरी को हर साल सीवी रमन की याद के रूप में नेशनल साइंस डे मनाया जाता है।

कारगिल युद्ध के साजिशकर्ता थे मुशर्रफ, 1965 में भारत के खिलाफ लड़े थे युद्ध

Parvez Musharraf: जानिए क्या है मुशर्रफ-धोनी कनेक्शन, लोग क्यों करते हैं याद

Advertisement