नई दिल्ली: भारत द्वारा भगोड़ा घोषित किए जाने वाले दुष्कर्म के आरोपी नित्यानंद का काल्पनिक देश कैलासा इस समय खूब चर्चा में है. इस देश को हाल ही में UN जैसे बड़े अंतरराष्ट्रीय स्तर पर देखा गया है. जहां खुद को कैलासा की परमानेंट अंबेसडर बताने वाली विजयप्रिया जेनेवा में हुई इस मीटिंग में नज़र आई जिसने भारत पर भी कई आरोप लगाए. एक सवाल ये भी बनता है कि कौन है UN जैसे मंच पर नित्यानंद के काल्पनिक देश का प्रतिनिधि करने वाली विजयप्रिया।
बता दें, निर्यानन्द ने खुद अपने ट्विटर अकाउंट से अपने कथित देश के एक प्रतिनिधिमंडल को संयुक्त राष्ट्र की बैठक में भेजने का दावा किया है. इसी में कैलासा की ओर से एक महिला साध्वी विजयप्रिया की तस्वीर इस समय काफी वायरल हो रही है. विजयप्रिया ने ही जिनेवा में हुए संयुक्त राष्ट्र के कार्यक्रम में कैलासा का प्रतिनिधित्व किया था. विजयप्रिया ने खुद को कैलासा की परमानेंट एम्बेसडर बताया था. उसके अलावा पांच और महिलाओं ने इस कार्यक्रम में भाग लिया था. इन महिलाओं में कैलासा लॉस एंजिल्स की प्रमुख मुक्तिका आनंद, कैलासा सैंट लुइस की चीफ सोना कामत, कैलासा यूके की चीफ नित्या आत्मदायकी, कैलासा फ्रांस की चीफ नित्या वेंकटेशनंदा और कैलासा स्लोवेनी मां प्रियमपरा नित्यानंदा का नाम शामिल है.
मीडिया रिपोर्ट की मानें तो विजयप्रिया इस काल्पनिक देश की ओर से दुनिया की दूसरी संस्थाओं से समझौते करने की भूमिका भी निभाती है. वह कई अन्य देशों के प्रतिनिधियों से मुलाकात कर चुकी है जिसकी तस्वीरें भी इस समय सोशल मीडिया पर वायरल हो रही हैं. इन तस्वीरों में विजयप्रिया कुछ अमेरिकी अधिकारियों के साथ भी दिखाई दे रही है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार विजयप्रिया बाबा नित्यानंद की शिष्या है.
इतना ही नहीं संयुक्त राष्ट्र में विजयप्रिया ने दावा किया था कि कैलासा में 20 लाख अप्रवासी हिंदू रह रहे हैं. दावा किया गया है कि कैलासा ने 150 देशों में एम्बेसी और एनजीओ खोले हैं. साथ ही इस देश का एकमात्र धर्म हिंदू है और यहां संस्कृत, तमिल और अंग्रेजी भाषाएं चलती हैं. कैलासा की प्रतिनिधि ने UN में दावा किया कि यहां शास्त्रों और मनुस्मृति पर आधारित कानून चलते हैं. लोग यहां मनु के नियमों को मानते हैं. कैलासा की सरकार जरूरी और आधिकारिक धर्म शास्त्र (हिंदू कानून की पुस्तक) के जरिए ही इस कथित देश में कानून और नियम चलाती है.
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