देश के सभी राज्यों में धर्म परिवर्तन को लेकर अलग-अलग कानून लागू हैं। उत्तर प्रदेश में जबरन धर्म परिवर्तन के खिलाफ योगी सरकार ने
Anti-conversion Laws: देश के सभी राज्यों में धर्म परिवर्तन को लेकर अलग-अलग कानून लागू हैं। उत्तर प्रदेश में जबरन धर्म परिवर्तन के खिलाफ योगी सरकार ने मौजूदा कानून में बदलाव के लिए विधेयक पेश किया है। आइए जानते हैं कि इस विधेयक में ऐसा क्या है, जिसका पूरे देश में चर्चा हो रहा है, और बाकी राज्यों में धर्म परिवर्तन को लेकर क्या कानून है।
उत्तर प्रदेश में संशोधन विधेयक में धर्म परिवर्तन से जुड़े अपराधों की सजा को बढ़ा दिया गया है। इसमें आजीवन कारावास और एक लाख रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान है। विदेशों से धर्म परिवर्तन के लिए फंडिंग पर भी सख्त प्रावधान किए गए हैं।
उत्तर प्रदेश सरकार ने इस बिल को “उत्तर प्रदेश विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध (संशोधन) विधेयक” नाम दिया है। नाबालिग, एससी-एसटी का जबरन धर्म परिवर्तन कराने पर उम्रकैद का प्रावधान है। इस विधेयक को विधानसभा से पारित होने के बाद विधान परिषद और फिर राज्यपाल और राष्ट्रपति के पास भेजा जाएगा।
अगस्त 2023 तक, देशभर में 10 राज्यों में जबरन धर्मांतरण विरोधी कानून लागू हो चुके हैं। ये राज्य हैं:
– उत्तर प्रदेश
– उत्तराखंड
– मध्य प्रदेश
– कर्नाटक
– हरियाणा
– गुजरात
– झारखंड
– छत्तीसगढ़
– हिमाचल प्रदेश
– ओडिशा
पिछले साल अगस्त में महाराष्ट्र ने भी जबरन धर्मांतरण के खिलाफ कानून लाने का ऐलान किया था।
सरकार का कहना है कि गुमराह कर शादी करने और अनुसूचित जाति व जनजाति (एससी-एसटी) के जबरन धर्म परिवर्तन के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। इन्हीं मामलों पर अंकुश लगाने के लिए नियमों में बदलाव किए जा रहे हैं।
– जबरन धर्म परिवर्तन से जुड़े अपराधों में सजा की अवधि बढ़ाई गई है।
– इसमें आजीवन कारावास और एक लाख रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान है।
– नाबालिग, दिव्यांग, मानसिक रूप से दुर्बल व्यक्ति, महिला, एससी-एसटी का जबरन धर्म परिवर्तन कराने पर आजीवन कारावास और एक लाख रुपये जुर्माने की सजा होगी।
– सामूहिक रूप से जबरन धर्म परिवर्तन पर भी आजीवन कारावास और एक लाख रुपये जुर्माने की सजा होगी।
धर्म परिवर्तन के लिए विदेशों से फंडिंग लेने वालों को 14 साल की सजा और 10 लाख रुपये जुर्माने का प्रावधान किया गया है। यदि कोई व्यक्ति धर्म परिवर्तन के लिए किसी के जीवन या संपत्ति को भय में डालता है, हमला करता है, बल प्रयोग करता है, शादी करने का झूठा वादा करता है, प्रलोभन देकर नाबालिग, महिला या व्यक्ति की तस्करी करता है, तो उसे न्यूनतम 20 साल की सजा होगी और यह सजा जीवन भर के लिए बढ़ाई जा सकती है। इसके अलावा, पीड़ित के इलाज और पुनर्वास के लिए भी जुर्माना देना होगा।
उत्तर प्रदेश का धर्म परिवर्तन विरोधी कानून सबसे सख्त है क्योंकि इसमें सजा की अवधि को बढ़ाने, विदेशी फंडिंग पर सख्ती और नाबालिग, एससी-एसटी और महिलाओं के जबरन धर्म परिवर्तन पर कड़ी सजा का प्रावधान है। अन्य राज्यों में भी धर्म परिवर्तन के खिलाफ कानून हैं, लेकिन यूपी का कानून अपने सख्त प्रावधानों के कारण सबसे अलग है।
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