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US सीनेट कमेटी ने चीन को दिखाया आईना, अरुणाचल को बताया भारत का अभिन्न अंग, प्रस्ताव मंजूर

नई दिल्ली। अरुणाचल प्रदेश को लेकर चीन का रुख कभी साफ नहीं रहा है. वह उसको हमेशा चीन का हिस्सा मानता है. वहीं दूसरी तरफ LAC पर लगातार अपनी गतिविधियां भी बढ़ाता रहा है. चीन के इन हरकतों से सीमा पर तनाव बना रहता है. इसके साथ ही आए दिन नोक-झोक की खबरे आती रहती […]

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US सीनेट कमेटी ने चीन को दिखाया आईना, अरुणाचल को बताया भारत का अभिन्न अंग, प्रस्ताव मंजूर
  • July 14, 2023 1:13 pm Asia/KolkataIST, Updated 1 year ago

नई दिल्ली। अरुणाचल प्रदेश को लेकर चीन का रुख कभी साफ नहीं रहा है. वह उसको हमेशा चीन का हिस्सा मानता है. वहीं दूसरी तरफ LAC पर लगातार अपनी गतिविधियां भी बढ़ाता रहा है. चीन के इन हरकतों से सीमा पर तनाव बना रहता है. इसके साथ ही आए दिन नोक-झोक की खबरे आती रहती हैं. इस बीच अब उसके अड़ियल रुख पर विराम सा लगता नजर आ रहा है. USA की (SFRC ) सीनेट फार रिलेशन कमेटी द्वारा एक प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है, जिसमें कहा गया है कि अरुणाचल प्रदेश भारत का हिस्सा है. SFRC की मंजूरी से पूरे सदन से प्रस्ताव पास होने का रास्ता साफ हो गया है. यह प्रस्ताव सीनेटर जेफ मर्कले और टेनेसी के बिल हैगर्टी द्वारा पेश किया गया. जिसका समर्थन जॉन कॉर्निन, टिम काइन, क्रिस वान होलेन ने किया.

फरवरी में भी आया था प्रस्ताव

फरवरी 2023 में इस प्रस्ताव को पहली लाया गया था. प्रस्ताव पेश करने हुए सीनेटर बिल हैगर्टी ने कहा था कि चीन हिन्द-प्रशांत क्षेत्र के लिए खतरा बनता जा रहा है. ऐसे में अमेरिका को हिन्द-प्रशांत क्षेत्र में रणनीतिक भागीदारों के साथ मजबूती से खड़ा होना चाहिए, जिसमें भारत महत्वपूर्ण है. इस प्रस्ताव में LAC पर चीन की तरफ से की जा रही उकसावे की कार्रवाई को अनुचित ठहराया गया है.

भारत के लिहाज से क्यों है महत्वपूर्ण?

अरुणाचल प्रदेश हमेशा से भारत का अभिन्न अंग रहा है, लेकिन चीन की नजर अरुणाचल को हथियाने पर रही है. ऐसे में इस प्रस्ताव का आना जहां एक ओर चीन के गलत दावे को खारिज करता है. वही भारत का समर्थन करने से भारत अमेरिका के द्विपक्षीय संबंधों पर इसका सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा. 1962 से ही USA अरुणाचल को भारत का हिस्सा मानता रहा है. लेकिन अब इस प्रस्ताव को मंजूरी मिल जाने से भारत की वैधता को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर और मजबूती मिलेगी.

चीन इसे जंगनान कहता है

अरुणाचल प्रदेश को लेकर चीन का अपना ही दावा है. चीन इसे दक्षिण तिब्बत का हिस्सा बताता है. इसको जंगनान नाम से सम्बोधित करता है, इसलिए भारत के प्रधानमंत्री या किसी शीर्ष अधिकारी के अरुणाचल दौरे का लगातार विरोध करता है. हालांकि अरुणाचल हमेशा से भारत का अभिन्न अंग रहा है और US के इस प्रस्ताव को मंजूरी मिलने से भारत के दावे को ज्यादा वैधता मिली है.

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