देश-प्रदेश

यूपी में मौजूद है वो श्रापित नदी जिसे छूने से डरते हैं लोग, एक बूंद भी पी ली तो होगा ये नुकसान

नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश में कई नदियां ऐसी हैं जो अपने ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्त्व के लिए जानी जाती हैं, लेकिन इनमें से एक नदी ऐसी भी है जिसे लोग श्रापित मानते हैं और उसे छूने या उसका पानी पीने से भी डरते हैं। इस नदी का नाम है कर्मनाशा नदी, जो बिहार और उत्तर प्रदेश में बहती है। इस नदी के बारे में सदियों से यह मान्यता चली आ रही है कि इसका पानी पीना अशुभ होता है, और इसे छूने से जीवन में कठिनाइयां आ सकती हैं।

पानी पीने से डर क्यों?

हालांकि नदी का पानी साफ और ठंडा होता है, फिर भी लोग प्यासे रहते हुए भी इसका पानी पीने से बचते हैं। मान्यता यह है कि जो भी व्यक्ति इस नदी का पानी पीता है, उसे अशुभ घटनाओं का सामना करना पड़ता है। इस डर की वजह से लोग इस नदी के पास नहीं जाते और जल ग्रहण करने से अच्छे कर्मों का नाश हो जाता है, इसलिए लोग इसके छूने से बचते हैं। आसपास के ग्रामीण इसका पानी छूने से भी कतराते हैं, और इस डर के चलते यह नदी काफी हद तक जनजीवन से दूर हो गई है।

नदी का इतिहास

कर्मनाशा नदी के बारे में एक प्रचलित कथा है। कहानियों के मुताबिक सत्यव्रत जो राजा हरीशचंद्र के पिता थे, उन्होंने एक बार गुरु वशिष्ठ से शरीर के साथ स्वर्ग में जाने की इच्छा जाहिर की, परंतु उनकी बात सुनकर गुरु ने उन्हें ऐसा करने से साफ इंकार कर दिया। इस बात से सत्यव्रत नाराज हो गए और विश्वामित्र के पास पहुंचे। इसके बाद उन्होंने विश्वामित्र के सामने भी यही इच्छा जाहिर की। गुरु वशिष्ठ और गुरु वशिष्ठ के बीच पहले से ही काफी शत्रुता होने के कारण उन्होंने सत्यव्रत की यह इच्छा पूरी करने का फैसला कर लिया। इसके बाद विश्वामित्र ने घोर तप कर सत्यव्रत को शरीर सहित स्वर्ग भेज दिया। हालांकि वह धरती और स्वर्ग के बीच में ही अटक गए और त्रिशंकु कहलाए। कथा के अनुसार विश्वामित्र और देवताओं की बीच जब युद्ध हो रहा था, तो उस समय सत्यव्रत धरती और आकाश के बीच में अटके हुए झूल रहे थे। उस दौरान सत्यव्रत के मुंह से लार टपकने लगी और यही लार नदी बन कर धरती पर आई। इसके बाद ऋषि वशिष्ठ ने सत्यव्रत को चंडाल होने का शाप दे दिया और इसके बाद यह नदी भी शापित हो गई। इस बात को आज भी लोग मानते हैं और इस नदी से दूर रहते हैं।

कहां बहती है ये नदी

जानकारी के अनुसार कर्मनाशा नदी बिहार के कैमूर से निकलती है फिर उत्तर प्रदेश आती है। कर्मनाशा नदी बिहार और यूपी को आपस में बांटती है। इसकी एक तरफ यूपी के सोनभद्र, चंदौली, वाराणसी और गाजीपुर है। गाजीपुर से होती हुई करमांसा नदी बक्सर के पास गंगा में जाकर मिल जाती है।

Also Read…

New CJI: जस्टिस संजीव खन्ना बने देश के अगले चीफ जस्टिस, 11 नवंबर से संभालेंगे पद

मोहम्मद यूनुस पागल हो गए हैं, शेख हसीना के बाद अब आर्मी चीफ हटाने की योजना पर बोलीं तसलीमा

Shweta Rajput

Recent Posts

दिल्ली: हर समस्या का समाधान करेंगे, एलजी सक्सेना की वीडियो पर बोलीं सीएम आतिशी

मुख्यमंत्री आतिशी ने कहा कि मैं एलजी साहब का धन्यवाद देना चाहती हूं कि उन्होंने…

54 minutes ago

हिंदी-इंग्लिश विवाद से बढ़ी हलचल, क्या रवींद्र जडेजा के कारण रद्द हुआ टी20 मैच?

रवींद्र जडेजा की प्रेस कॉन्फ्रेंस विवाद के कारण एक टी20 मैच रद्द किए जाने की…

3 hours ago

PM Modi Kuwait Visit: दो दिन के कुवैत दौरे के बाद भारत लौटे प्रधानमंत्री मोदी

कुवैत दौरे के दूसरे दिन प्रधानमंत्री मोदी को कुवैत का सर्वोच्च सम्मान ऑर्डर ऑफ मुबारक…

3 hours ago

ग्रेग चैपल का कहना है, विराट कोहली एलीट परफॉर्मेंस डिक्लाइन सिंड्रोम का सामना कर रहे हैं, जानें EPDS के बारे में

ऑस्ट्रेलिया के पूर्व क्रिकेटर ग्रेग चैपल ने विराट कोहली के हालिया खराब फॉर्म को लेकर…

3 hours ago

इंग्लैंड की चैंपियंस ट्रॉफी टीम में हुआ बड़ा उलटफेर, इन 3 खिलाड़ियों की हुई चौंकाने वाली एंट्री

इंग्लैंड ने चैंपियंस ट्रॉफी 2025 और भारत के खिलाफ आगामी सीरीज के लिए अपनी टीम…

3 hours ago

क्या भारत-ऑस्ट्रेलिया का चौथा टेस्ट रद्द हो सकता है? जानें वजह

भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच टेस्ट सीरीज का चौथा मैच मेलबर्न में होने वाला है,…

3 hours ago