नई दिल्ली। भारत के दिग्गज उद्योगपति रतन टाटा का 9 अक्टूबर, बुधवार शाम को निधन हो गया। मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में उन्होंने अपनी आखिरी सांस ली। गंभीर हालत में उन्हें यहां आईसीयू में भर्ती कराया गया था। 86 वर्षीय टाटा के निधन की खबर से बिजनेस जगत समेत पूरे भारत में शोक की […]
नई दिल्ली। भारत के दिग्गज उद्योगपति रतन टाटा का 9 अक्टूबर, बुधवार शाम को निधन हो गया। मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में उन्होंने अपनी आखिरी सांस ली। गंभीर हालत में उन्हें यहां आईसीयू में भर्ती कराया गया था। 86 वर्षीय टाटा के निधन की खबर से बिजनेस जगत समेत पूरे भारत में शोक की लहर है। रतन टाटा ने ना सिर्फ बिजनेस सेक्टर में अपना नाम बनाया बल्कि एक दरियादिल इंसान के रूप में भी वो जाने जाते थे। आज जानेंगे कि उन्होंने भारत की सबसे सस्ती कार कैसे बनाई।
रतन टाटा ने एक बार मुंबई की बारिश में टू व्हीलर पर 4 लोगों को भीगते हुए देखा। परिवार को इस तरह देखकर उन्हें टाटा नैनो बनाने की प्रेरणा मिली। रतन टाटा ने इंजीनियर्स को बुलाया और महज 1 लाख में कार बनाने को कहा। 2008 में उन्होंने मिडिल क्लास के लिए टाटा नैनो लॉन्च की। यह भारतीय कार इतिहास की सबसे सस्ती कार है। हालांकि यह लोगों को ज्यादा पसंद नहीं आई। इस वजह से 2020 में इसका प्रोडक्शन बंद हो गया।
देश के सबसे प्रसिद्ध कारोबारी और अरबपति रतन टाटा का जन्म 28 दिसंबर 1937 को नवल टाटा और सूनी टाटा के घर पर हुआ था। 1991 से लेकर 2012 तक टाटा ग्रुप के चेयरमैन रहने के दौरान उन्होंने बिजनेस सेक्टर में कई कीर्तिमान स्थापित किए। उन्होंने टाटा समूह को बुलंदियों तक पहुंचाया और एक दरियादिल इंसान के रूप में अपनी छवि बनाई। रतन टाटा हर कारोबारी चाहे वो छोटा हो या बड़ा उनके लिए प्रेरणास्त्रोत हैं।
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