लोकसभा का पहला बजट सत्र आज से शुरू हो गया है। सत्र शुरू होने से पहले राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 59 मिनट तक दोनों सदनों को संयुक्त रूप से संबोधित किया। कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी ने सदन के बाहर राष्ट्रपति के भाषण पर अपनी प्रतिक्रिया दी और कुछ ऐसा कह दिया कि बवाल खड़ा हो गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी सोनिया के बयान पर नाराजगी जताई है।
नई दिल्ली। 18वीं लोकसभा का पहला बजट सत्र आज से शुरू हो गया है। सत्र शुरू होने से पहले राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 59 मिनट तक दोनों सदनों को संयुक्त रूप से संबोधित किया। कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी ने सदन के बाहर राष्ट्रपति के भाषण पर अपनी प्रतिक्रिया दी और कुछ ऐसा कह दिया कि बवाल खड़ा हो गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी सोनिया के बयान पर नाराजगी जताई है।
दिल्ली के द्वारका में जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि द्रौपदी मुर्मू जी एक आदिवासी परिवार से आई हैं। उनकी मातृभाषा हिंदी नहीं, उड़िया है। मातृभाषा हिंदी न होने के बावजूद उन्होंने आज संसद को प्रेरित किया, भाषण दिया। लेकिन कांग्रेस के शाही परिवार ने उनका अपमान करना शुरू कर दिया है।
पीएम मोदी ने आगे कहा कि शाही परिवार के एक सदस्य ने कहा कि आदिवासी बेटी ने बहुत बोरिंग भाषण दिया। दूसरी सदस्य तो इससे भी एक कदम और आगे बढ़कर राष्ट्रपति जी को गरीब कहा और थकी हुई कहा। ये देश के 10 करोड़ आदिवासी भाई-बहनों का अपमान है। ये देश के हर गरीब का अपमान है.
#WATCH दिल्ली के द्वारका में जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ” द्रौपदी मुर्मू जी एक आदिवासी परिवार से आई हैं। उनकी मातृभाषा हिंदी नहीं, उड़िया है। मातृभाषा हिंदी न होने के बावजूद उन्होंने आज संसद को प्रेरित किया, भाषण दिया। लेकिन कांग्रेस का शाहीपरिवार… pic.twitter.com/Q4FytBDfOn
— ANI_HindiNews (@AHindinews) January 31, 2025
सोनिया ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि राष्ट्रपति अपने भाषण के आखिरी में थकी हुई लग रही थीं। पुअर लेडी बहुत मुश्किल से बोलती हुई नजर आ रही थीं। सोनिया के इस बयान पर केंद्र की भाजपा सरकार हमलावर हो गई है। इन सबके बीच राष्ट्रपति भवन ने भी बयान जारी किया है। राष्ट्रपति भवन की ओर से कहा गया है कि महामहिम राष्ट्रपति के अभिभाषण पर कांग्रेस पार्टी के कुछ नेताओं की टिप्पणियां सही नहीं थी। इससे उनके शीर्ष पद के गरिमा को ठेस पहुंची है।