Sidhi incident: सीधी पेशाब कांड के पीड़ित ने बयां किया दर्द, उधारी लेकर चला रहा हूं घर अब……

नई दिल्लीः एमपी के सीधी में बीते जुलाई महीने में हुए आदिवासी पेशाब कांड में नया मोड़ आ गया है। पीड़ित आदिवासी दशमत राव ने चंद्रशेखर आजाद के संगठन भीम आर्मी और आजाद समाज पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर ली है। पीड़ित आदिवासी युवक का कहना है कि उसका किसी तरह से कोई खोज खबर […]

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Sidhi incident: सीधी पेशाब कांड के पीड़ित ने बयां किया दर्द, उधारी लेकर चला रहा हूं घर अब……

Sachin Kumar

  • November 9, 2023 4:26 pm Asia/KolkataIST, Updated 1 year ago

नई दिल्लीः एमपी के सीधी में बीते जुलाई महीने में हुए आदिवासी पेशाब कांड में नया मोड़ आ गया है। पीड़ित आदिवासी दशमत राव ने चंद्रशेखर आजाद के संगठन भीम आर्मी और आजाद समाज पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर ली है। पीड़ित आदिवासी युवक का कहना है कि उसका किसी तरह से कोई खोज खबर नहीं ले रहा है। सीएम शिवराज सिंह चौहान भी फोन उठाना बंद कर चुके है। अब उन्होंने आजाक्स पार्टी का दामन थाम लिया है। बता दें कि इसी साल जुलाई महीने में सीधी वाले दशमत का एक वीडियो वायरल हुआ था। जिसके बाद आनन – फानन में पीड़ित युवक दशमत रावत को सीएम शिवराज ने अपने आवास पर बुलाकर पैर धोकर स्म्मान किया था।

वित्तीय सहायता भी दी गई थी

इसके अलावा सीएम की तरफ से प्रधानमंत्री आवास से 1.5 लाख रुपए की मदद और 5 लाख का चेक भी प्रदान किया था। अब पीछले दो महीने से दशमत की किसी ने कोई खोज – खबर नहीं ली। इससे नाराज होकर दशमत ने बीते दिन चंद्रशेखर आजाद की आजाद पार्टी की सदस्यता ले ली। हालांकि अभी चार पुलिसकर्मी उनकी सुरक्षा में तैनात रहते हैं। दशमत ने कहा कि वह सुरक्षा के चलते घर में रहने के कारण अपने आप को जेल में बंद महसूस करता है। इसलिए उन्होंने पुलिस एसपी से सुरक्षाकर्मीयों को हटाने की मांग की थी। वहीं एसपी ने कहा था कि चुनाव खत्म होने के बाद पुलिसकर्मीयों को हटा लिया जाएगा।

आजाक्स पार्टी ने दिया समर्थन

दशमत ने कहा कि वह उधारी लेकर घर के खर्च चला रहा है। आजाद की आजाक्स पार्टी के लोगों ने भरोसा दिलाया कि अगर उनका प्रतिनिधी जीतेगा तो मदद की जाएगी। इसी भरोसे दशमत ने अजाक्स पार्टी को ज्वाइन करते हुए अपने घर में झंडा लगा लिया है। साथ ही उसने कहा कि मुख्यमंत्री के किए गए सहयोग का पूरा पैसा अब घर के निर्माण में खर्च हो गया है। अब उसके लिए जीवनयापन के लिए खर्चा नहीं है, इसलिए वह मजदूरी करना चाहता है।

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