नई दिल्ली : 28 मई को होने वाले नए संसद भवन के उद्घाटन में स्पीकर की सीट के पास सेंगोल स्थापित होगा। इस बात का ऐलान गृह मंत्री अमित शाह ने सुबह प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए किया। गृह मंत्री ने आगे कहा कि नया संसद भवन हमारे इतिहास, परंपरा, सांस्कृतिक विरासत, और सभ्यता को आधुनिकता […]
नई दिल्ली : 28 मई को होने वाले नए संसद भवन के उद्घाटन में स्पीकर की सीट के पास सेंगोल स्थापित होगा। इस बात का ऐलान गृह मंत्री अमित शाह ने सुबह प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए किया। गृह मंत्री ने आगे कहा कि नया संसद भवन हमारे इतिहास, परंपरा, सांस्कृतिक विरासत, और सभ्यता को आधुनिकता से जोड़ने का एक प्रयास है। इस अवसर पर एक ऐतिहासिक परंपरा पुनर्जीवित हो रही है।
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने स्वतंत्रता के ऐतिहासिक प्रतीक सेंगोल की प्रथा को फिर से शुरू करने का ऐलान किया है। शाह ने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी उद्घाटन से पहले तमिलनाडु से सेंगोल प्राप्त करेंगे और वहीं इसे नए संसद भवन के अंदर स्थापित करेंगे।
सेंगोल तमिल भाषा के शब्द ‘सेम्मई’ से आया है जिसका अर्थ धर्म, निष्ठा और सच्चाई है। आपको बता दें कि राजदंड सेंगोल भारत की स्वतंत्रता से जुड़ा एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक प्रतीक है। जब अंग्रेजों ने भारत की आजादी का ऐलान किया था तो सत्ता हस्तांतरण के प्रतीक के तौर पर सेंगोल का इस्तेमाल किया गया था। भारत की स्वतंत्रता के वक्त इस सेंगोल को प्राप्त करने की कहानी दुनियाभर के मीडिया ने कवर किया था।
क्षेत्रफल: नया संसद भवन 65,000 वर्ग मीटर तक फैला है। जबकि पुराना संसद भवन 24,281 वर्ग मीटर में फैला हुआ है।
बैठने की व्यवस्था: नई संसद के राज्यसभा में 384 सदस्यों और लोकसभा में 888 सदस्यों के बैठने की व्यवस्था की गई है। जबकि वर्तमान के संसद भवन में राज्यसभा में 250 वहीं लोकसभा में 550 सदस्यों के बैठने की व्यवस्था है।
टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल: नए भवन में काफी अत्याधुनिक टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल हुआ है जैसे बायोमेट्रिक्स, ट्रांसलेशन सिस्टम, डिजिटल लैंग्वेज इंटरप्रिटेशन और प्रोग्राम करने योग्य माइक्रोफोन। साथ ही इसमें साउंड सिमुलेशन भी फिट किया गया है ताकि गूंज को सीमित किया जा सके।
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