नई दिल्ली: जम्मू कश्मीर के पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने राहुल गांधी के साथ इंटरव्यू किया है। इस दौरान मलिक ने कई बड़े खुलासे किये। उन्होंने प्रधानमंत्री के ऊपर भी टिप्पणी की। सत्यपाल ने इस बीच किसानों की स्थिति से लेकर पुलवामा अटैक पर भी बात की। मलिक ने कहा कि लोगों ने अब राजनीति […]
नई दिल्ली: जम्मू कश्मीर के पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने राहुल गांधी के साथ इंटरव्यू किया है। इस दौरान मलिक ने कई बड़े खुलासे किये। उन्होंने प्रधानमंत्री के ऊपर भी टिप्पणी की। सत्यपाल ने इस बीच किसानों की स्थिति से लेकर पुलवामा अटैक पर भी बात की। मलिक ने कहा कि लोगों ने अब राजनीति को व्यापार बना दिया है। आजादी के समय ये एक कर्तव्य माना जाता था, फिर इसे एक प्रोफेशन बना दिया गया।
राहुल गांधी ने जम्मू कश्मीर के हालात के बारे में भी सवाल किया। मलिक ने इसपर कहा कि जम्मू कश्मीर को आप जबरदस्ती या फौज से ठीक नहीं कर सकते। वहां के लोगों को जीतकर आप कुछ नहीं कर सकते। वहां के लोग सुशील हैं, इम्पॉसिबल नहीं। मैंने वहां रहकर उन्हें देखा है।
मलिक ने कहा कि सरकार को जम्मू कश्मीर में माहौल को ठीक करने के लिए राज्य को स्टेटहुड वापस करना चाहिए। जम्मू कश्मीर को यूनियन टेरिटरी बनाने से वहां के लोगों को बहुत ज्यादा दुख हुआ है। पुलवामा अटैक पर बात करते हुए सत्यपाल मालिक ने कहा कि जिस दिन पुलवामा अटैक हुआ उस दिन प्रधानमंत्री मोदी कॉर्बेट नेशनल पार्क में शूटिंग कर रहे थे।
मैंने तीन चार बार कांटेक्ट करने की कोशिश की, पर वे अवेलेबल नहीं थे। बाद में 5-6 बजे कॉल करके पीएम ने पूछा है, क्या हुआ। मैंने कहा हमारी गलती से इतने लोग मर गए हैं। मोदी ने फिर इसपर मुझे चुप रहने को कह दिया और इसपर कोई जांच या कार्रवाई नहीं की।
सत्यपाल ने कहा कि भारतीय सेना ने 4 महीने पहले से एयरक्रॉफ्ट के लिए अपील कर दी थी। पर तब शासन ने नहीं सुना और 4 महीने बाद उनकी रिक्वेस्ट रिजेक्ट कर दी। अंत में सेना को बाई रोड जाना पड़ा जिसकी वजह से पुलवामा हमले में उनकी मौत हुई। सरकार पर आरोप लगाते हुए मलिक ने कहा कि अग्निवीर लाकर सरकार ने फौज खत्म कर दिया। इतने से समय के लिए अग्निवीर में कौन अपनी जान देगा।
सत्यपाल ने पिछले कुछ सालों में हुए अपने तबादलों पर भी बात की। उन्होंने कहा कि मैं सरकार के खिलाफ बोल देता हूं इसलिए वो मेरा तबादला करा देते हैं। गोवा में भ्रष्टाचार पर बोला तो वहां से नार्थ ईस्ट भेज दिया गया। जम्मू कश्मीर में बोला तो वहां से भी हटा दिया गया।