बागपत : अग्निपथ योजना पर एक बार फिर विरोध के स्वर सुने जा सकते हैं. जहां पिछले दिनों मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने इस योजना का खुलकर विरोध किया. दरअसल बीते रविवार राज्यपाल सत्यपाल मलिक उत्तर प्रदेश के बागपत में अपने दोस्त गजे सिंह दहामा के देहांत पर उनके परिवार को सांत्वना देने आए […]
बागपत : अग्निपथ योजना पर एक बार फिर विरोध के स्वर सुने जा सकते हैं. जहां पिछले दिनों मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने इस योजना का खुलकर विरोध किया. दरअसल बीते रविवार राज्यपाल सत्यपाल मलिक उत्तर प्रदेश के बागपत में अपने दोस्त गजे सिंह दहामा के देहांत पर उनके परिवार को सांत्वना देने आए थे. जहां उन्होंने केंद्र सरकार की विवादित अग्निपथ योजना का खुलकर विरोध किया.
बीते रविवार गवर्नर सत्यपाल मलिक ने उत्तर प्रदेश के बागपत में केंद्र सरकार की शॉर्ट टर्म भर्ती योजना को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा, ”यह योजना जवानों के खिलाफ है. इस योजना में उनकी उम्मीदों के साथ धोखा किया जा रहा है.” उन्होंने आगे कहा, “6 महीने की ट्रेनिंग, 6 महीने की छुट्टी और 3 साल की नौकरी के बाद जब जवान घर लौटेगा तो उसकी शादी तक नहीं होगी.” सत्यपाल मलिक ने आगे कहा, कि केंद्र सरकार को इस योजना को छोड़कर पुरानी योजना के अनुसार ही सेना में भर्ती प्रक्रिया जारी रखनी चाहिए.
भारतीय वायुसेना के अनुसार अग्निपथ योजना के तहत रजिस्ट्रेशन करने वालों का ऑनलाइन एग्जाम 24 जुलाई से 31 जुलाई तक होगा। इसके बाद 21 से 28 अगस्त तक फिजिकल फिटनेस टेस्ट होगा। फिर 29 अगस्त से 8 नवंबर तक मेडिकल एग्जामिनेशन होगा। इन सभी परीक्षाओं को जो भी उम्मीदवार पास करते हैं 1 दिसंबर 2022 को उनके नाम की लिस्ट जारी कर दी जाएगी। वायुसेना के मुताबिक 30 दिसंबर से उनकी ट्रेनिंग भी शुरू हो जाएगी।
बता दें कि तीनों सेनाओं में भर्ती प्रक्रिया कोरोना महामारी की वजह से पिछले दो सालों से रुकी हुई थी। जिसके बाद केंद्र सरकार और सेना की ओर से अग्निपथ योजना लॉन्च की गई। इस योजना के जरिए भर्ती होने वाले 75 प्रतिशत जवान चार साल बाद रिटायर हो जाएंगे। सिर्फ चार साल के लिए सेना में भर्ती को लेकर देश के कई राज्यों में इस योजना का भारी विरोध हो रहा है। आक्रोशित युवाओं के साथ विपक्षी दल भी लगातार सरकार को घेर रहे है। हालांकि सेना की तरफ से स्पष्ट कहा गया है कि योजना वापस नहीं होगी और इसी के तहत आगे की भी भर्तियां होंगीं।
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