नई दिल्ली. राहुल गांधी ने अपने अब तक के राजनीतिक करियर में कुछ ऐसे फैसले लिए जिसने कांग्रेस पार्टी से लेकर बीजेपी और आम जनता तक सबको चौंका कर रख दिया. राहुल गांधी ने अपने राजनीतिक पारी की शुरुआत से ही अलग राह चुनी और खुद को जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी और राजीव गांधी से अलग रखा. राहुल गांधी ने 2013 में अपनी ही सरकार के खिलाफ बगावती तेवर भी दिखाए और मनमोहन सिंह सरकार द्वारा लाए जाने वाले दागियों को बचाने वाले अध्यादेश को मीडिया के सामने फाड़ दिया था. चुनावों से पहले उन्होंने बीजेपी को रोकने के लिए दूसरी पार्टियों से गठबंधन भी किया. 2018 में संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को गले लगाकर भी राहुल गांधी ने खूब सुर्खियां बटोरीं. लोकसभा चुनाव 2019 से पहले कांग्रेस में अंदर से प्रियंका गांधी को मुख्यधारा की राजनीति में लाने की मांग उठी थी, लेकिन राहुल गांधी ने उसे दरकिनार करते हुए प्रियंका को पार्टी महासचिव बनाकर सिर्फ पूर्वी यूपी की कमान सौंप दी थी. हाल ही में जब लोकसभा चुनाव 2019 के बाद कांग्रेस को बुरी तरह हार मिली तो राहुल गांधी ने पार्टी अध्यक्ष पर से इस्तीफा देकर भी सबको हैरान कर दिया. आइए जानते हैं कि ऐसे कौनसे मौके हैं जब राहुल गांधी ने अपने राजनीतिक फैसलों से सबको चौंका दिया.
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वहीं राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भी कहा था कि पार्टी कभी भी राहुल गांधी को प्रधानमंत्री बनाने का फैसला ले सकती है. हालांकि ऐसा नहीं हुआ यूपीए 2 के पूरे पांच साल के कार्यकाल तक राहुल गांधी ही प्रधानमंत्री रहे और राहुल गांधी ने पीएम पद में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई.
Rahul kab pardhanmantri the bhai.
atleast now stop bootlicking of Fake Gandhi's. Did you get your paycheck even after poor results?