Advertisement

विधानसभा सत्र के मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट पहुंची पंजाब सरकार, जानिए क्या है मामला

चंडीगढ़। पंजाब के गवर्नर बीएल पुरोहित के खिलाफ पंजाब की आप सरकार सुप्रीम कोर्ट पहुंच गई है। सीएम भगवंत मान की सरकार बजट सत्र के मुद्दे को लेकर सुप्रीम कोर्ट पहुंची है। पंजाब सरकार की तरफ से सुप्रीम कोर्ट से मामले को लेकर जल्द सुनवाई किए जाने की मांग की जा रही है। क्या है […]

Advertisement
विधानसभा सत्र के मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट पहुंची पंजाब सरकार, जानिए क्या है मामला
  • February 27, 2023 1:08 pm Asia/KolkataIST, Updated 2 years ago

चंडीगढ़। पंजाब के गवर्नर बीएल पुरोहित के खिलाफ पंजाब की आप सरकार सुप्रीम कोर्ट पहुंच गई है। सीएम भगवंत मान की सरकार बजट सत्र के मुद्दे को लेकर सुप्रीम कोर्ट पहुंची है। पंजाब सरकार की तरफ से सुप्रीम कोर्ट से मामले को लेकर जल्द सुनवाई किए जाने की मांग की जा रही है।

क्या है पूरा मामला ?

बता दें, पंजाब के राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित ने पंजाब कैबिनेट द्वारा तीन मार्च से पंजाब विधानसभा का बजट सत्र बुलाने के लिए अनुमति देने से इंकार कर दिया था। कैबिनेट की ओर से भेजे  गए पत्र के जवाब में  23 फरवरी को राज्यपाल ने मुख्यमंत्री भगवंत मान के नाम लिखे पत्र में कहा था कि मुख्यमंत्री द्वारा 13 फरवरी को लिखे गए पत्र और सोशल मीडिया में किए गए ट्वीट असंवैधानिक और अपमानजनक है। राज्यपाल का कहना था कि कानूनी राय लेने के बाद ही बजट सत्र बुलाने संबंधी अनुमति देने पर कोई फैसला लिया जा सकता है।

सीएम ने किया था ट्वीट

बता दें, राज्यपाल द्वारा बजट सत्र की अनुमति नहीं मिलने के बाद भगवंत मान ने ट्वीट करते हुए कहा था कि, ये विश्व का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश है। पहले दिल्ली में बहुमत होने के बावजूद मेयर बनाने के लिए सुप्रीम कोर्ट जाना पड़ा बाद में डिप्टी मेयर के लिए सुप्रीम कोर्ट जाना पड़ा और अब पंजाब में विधानसभा का बजट सेशन बुलाने के लिए भी सुप्रीम कोर्ट जाना पड़ रहा है।

3 करोड़ जनता के प्रति हूं जवाबदेह – मान

इससे पहले 13 फरवरी को राज्यपाल ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर सिंगापुर में ट्रेनिंग के लिए भेजे गए प्रिंसिपलों के चयन प्रक्रिया और खर्च सहित अन्य चार मुद्दों पर जानकारी मांगी थी। जिसके जवाब में, मुख्यमंत्री ने 13 फरवरी को ही ट्वीट कर राज्यपाल की नियुक्ति पर सवाल उठाने के साथ कहा था कि राज्यपाल द्वारा उठाए गए सभी मामले राज्य का विषय हैं। उनकी सरकार 3 करोड़ पंजाब की जनता के प्रति जवाबदेह है ना कि किसी केंद्र सरकार द्वारा नियुक्त किए गए राज्यपाल के प्रति

Advertisement