नई दिल्ली, बढ़ती महंगाई के कारण दूरसंचार सेवाएं का एक बार फिर महंगा होने का दावा किया जा रहा है। दरअसल, कुछ महीने पहले हुई टैरिफ बढ़ोतरी से निजी क्षेत्र की तीनों दूरसंचार कंपनियों के कुल ग्राहकों की तादाद में तो 3.7 करोड़ की कमी हुई है, लेकिन उनके सक्रिय ग्राहकों का बेस 3% यानी […]
नई दिल्ली, बढ़ती महंगाई के कारण दूरसंचार सेवाएं का एक बार फिर महंगा होने का दावा किया जा रहा है। दरअसल, कुछ महीने पहले हुई टैरिफ बढ़ोतरी से निजी क्षेत्र की तीनों दूरसंचार कंपनियों के कुल ग्राहकों की तादाद में तो 3.7 करोड़ की कमी हुई है, लेकिन उनके सक्रिय ग्राहकों का बेस 3% यानी 2.9 करोड़ बढ़ा भी है। ऐसे में अब कंपनियां सर्विस टैरिफ एक और बढ़ाेतरी के बारें में सोच सकती हैं।
एक रिपोर्ट के मुताबिक, अगस्त 2021 से लेकर फरवरी 2022 के बीच रिलायंस जियो के कुल सब्सक्राइबर बेस में सबसे तेज गिरावट आई है। दूसरी ओर मार्च 2022 तिमाही में कंपनी के एक्टिव सब्सक्राइबर 94% हो गए है। एक साल पहले कंपनी के एक्टिव सब्सक्राइबर मात्र 78 प्रतिशत थे। मार्च तिमाही में भारती एयरटेल के एक्टिव सब्सक्राइबर भी 1.1 करोड़ बढ़कर 99% हो गए थे।
कंपनियों की आय 20-25% बढ़ने का अनुमान 2020-21 में टेलीकॉम कंपनियों की प्रति यूजर औसत आय 11% बढ़कर 149 रुपए हो गई थी। इसका कारण ये था कि दिसंबर 2019 में इन कंपनियों ने अपना टैरिफ बढ़ाया था। लेकिन 2021-22 में इनकी एआरपीयू ग्रोथ घटकर 5 प्रतिशत रह गई। बता दें, 2022-23 में इन कंपनियों की एआरपीयू ग्रोथ 15-20% होनी चाहिए।
इसके चलते देश की टॉप तीन टेलीकॉम कंपनियों की आय में 20-25% बढ़ोतरी का अनुमान लगाया जा रहा है। इसके अलावा TRAI की नई रिपोर्ट के अनुसार एक महीने में एक करोड़ से भी अधिक ग्राहकों को खोने के बाद बाजार में जियो की हिस्सादारी 36 फीसदी है जो कि सबसे अधिक है। दूसरे नंबर पर एयरटेल 30.81 फीसदी के साथ है जिसे दिसंबर 2021 में 4,50,000 से अधिक नए ग्राहक हासिल हुए हैं। तीसरे नंबर पर Vi है जिसका मार्केट शेयर 23 फीसदी है। दिसबंर 2021 में वोडोफोन आइडिया को 16 लाख ग्राहकों ने अलविदा कहा है।
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