भारत के तीन समंदरों में छिपा अनमोल खजाना, जानें किस समुद्र में मिलते हैं सबसे ज्यादा कीमती मोती

भारत की समुद्री सीमा तीन अलग-अलग समुद्रों से घिरी हुई है। इन समंदरों की तटीय सीमा लगभग 7516.6 किलोमीटर है। भारत के 9 राज्य

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भारत के तीन समंदरों में छिपा अनमोल खजाना, जानें किस समुद्र में मिलते हैं सबसे ज्यादा कीमती मोती

Anjali Singh

  • August 25, 2024 10:43 pm Asia/KolkataIST, Updated 3 months ago

नई दिल्ली: भारत की समुद्री सीमा तीन अलग-अलग समुद्रों से घिरी हुई है। इन समंदरों की तटीय सीमा लगभग 7516.6 किलोमीटर है। भारत के 9 राज्य और 4 केंद्र शासित प्रदेश इन समुद्रों से सटे हुए हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि भारत के किस समुद्र में सबसे ज्यादा और बेहतरीन मोती पाए जाते हैं? आइए, जानते हैं इस दिलचस्प सवाल का जवाब।

भारत की तटरेखा और समुद्रों की जानकारी

भारत की तटरेखा कुल 7516.6 किलोमीटर लंबी है, जिसमें 5422.6 किलोमीटर मुख्य भूमि और 2094 किलोमीटर द्वीप क्षेत्र शामिल हैं। भारत के चारों ओर तीन समुद्र फैले हुए हैं—पश्चिम में अरब सागर, पूर्व में बंगाल की खाड़ी और दक्षिण में हिंद महासागर। भारत के पश्चिमी तट पर महाराष्ट्र, केरल, कर्नाटक और गोवा जैसे राज्य स्थित हैं, जबकि पूर्वी तट पर पश्चिम बंगाल, ओडिशा, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, पुदुचेरी और अंडमान और निकोबार द्वीप स्थित हैं।

भारत में सबसे ज्यादा मोती कहां मिलते हैं?

भारत के अंडमान द्वीप को मोती उत्पादन के लिए सबसे उपयुक्त स्थान माना जाता है। यहां की समुद्री जलवायु दुनिया के बाकी हिस्सों की तुलना में सबसे अनुकूल मानी जाती है। पर्ल एक्वाकल्चर क्षेत्र के वैज्ञानिक डॉ. अजय सोनकर के अनुसार, जापान में जहां मोती बनने में तीन साल से ज्यादा का समय लगता है, वहीं अंडमान के स्वच्छ और शांत समुद्र में यह प्रक्रिया महज छह महीने से एक साल के भीतर पूरी हो जाती है। यही कारण है कि भारत के अंडमान में सबसे बेहतरीन और अधिक संख्या में मोती पाए जाते हैं।

जापान और भारत के मोती में अंतर

जापान का समुद्री पानी ठंडा होता है और हाल के वर्षों में समुद्री प्रदूषण और जलवायु परिवर्तन ने वहां के मोती उत्पादन को प्रभावित किया है। जापान के समुद्र में सीपों की बड़ी संख्या में मौत हो रही है, जिससे वहां मोती उत्पादन की गुणवत्ता घट रही है। इसके विपरीत, भारत के अंडमान द्वीप में समुद्री जलवायु की विविधता और स्वच्छता के कारण यहां मोती की गुणवत्ता बेहतरीन होती है।

मोती बनने की प्रक्रिया

मोती बनने की प्रक्रिया भी बड़ी दिलचस्प होती है। समुद्र में घोंघे की एक विशेष प्रजाति के जीव सीप के अंदर रहते हैं। जब सीप के खोल में बालू का एक कण घुस जाता है, तो यह जीव उसकी सुरक्षा के लिए उस पर कैल्शियम कार्बोनेट की परत चढ़ाने लगता है। समय के साथ यह परतें एक सफेद, चमकीले, गोल आकार के पत्थर का रूप ले लेती हैं, जिसे हम मोती के नाम से जानते हैं। इस तरह, भारत के अंडमान द्वीप को देश में सबसे ज्यादा और बेहतरीन मोती उत्पादन का श्रेय जाता है। यहां की समुद्री जलवायु और स्वच्छता इसे मोती उत्पादन के लिए दुनिया के बेहतरीन स्थानों में शामिल करती है।

 

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