वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि पीएनबी घोटाले के लिए ऑडिटर्स और बैंक प्रबंधन को जिम्मेदार हैं. उन्होंने कहा कि ऑडिटर्स और प्रबंधन की विफलता के कारण इतनी बड़ा घोटाला हुआ है.
नई दिल्ली. पिछले कुछ समय से राजनीतिक मुद्दा बन चुके पीएनबी में हुए 11 हजार करोड़ के घोटाले लेकर आखिरकार वित्त मंत्री अरुण जेटली ने अपनी चुप्पी तोड़ी है. जेटली ने आज शाम एक बयान में कहा कि इस घोटाले के लिए ऑडिटर्स और बैंक प्रबंधन को जिम्मेदार ठहराया. बता दें कि लंबे समय से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अरुण जेटली ने जहां इसपर चुप्पी साधी हुई थी वहीं विपक्ष लगातार हमलावर था. जेटली ने सीधे शब्दों में कहा कि ऑडिटर्स और प्रबंधन की विफलता के कारण इतनी बड़ा घोटाला हुआ है. बता दें कि रक्षा मंत्री मामले पर पहले ही बयान दे चुकी हैं.
जेटली ने कहा कि ‘6 साल की ऑडिट में यह घोटाला क्यों सामने नहीं आया. इसको लेकर ऑडिट से पूछताछ की जाएगी.’ जेटली ने तीखे स्वर में कहा कि बैंकों में ऑडिट करने वालों को अपने आप से पूछना चाहिए कि वे अनियमिताओं को क्यों नहीं पकड़ पाए. उन्होंने आगे कहा कि इसके साथ ही बैंकों का प्रबंध तंत्र यह पता करने में विफल रहा है कि उनके बीच से कौन गड़बड़ी कर रहा है. जेटली ने कहा कि तंत्र अपनी जिम्मेदारी पर खरा नहीं उतरा है.
अरुण जेटली ने कहा कि निगरानी एजेंसियों को भी यह सुनिश्चित करना चाहिए कि ऐसे मामलों को शुरुआत में ही पकड़ा जाए और यह दोबारा न हों. वित्त मंत्री ने आशवस्त किया कि बैंकों के साथ घोटाला और धोखाधड़ी करने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी. घोटाले को लेकर जेटली ने कहा कि सुरक्षा का अतिरिक्त कवच बनाने के बारे में सोचना चाहिए.
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