नई दिल्ली: बेंगलुरु में आज विपक्षी दलों के महाजुटान का दूसरा दिन है. कल से इस दो दिवसीय महाबैठक की शुरुआत हुई थी जिसमें 26 दलों के साथ विपक्षी खेमे ने अपना दमखम दिखाया. आज महाबैठक का दूसरा दिन है जहां बेंगलुरु में कई विपक्षी पार्टियां एकत्रित होंगी और लोकसभा चुनाव को लेकर अपनी आगे […]
नई दिल्ली: बेंगलुरु में आज विपक्षी दलों के महाजुटान का दूसरा दिन है. कल से इस दो दिवसीय महाबैठक की शुरुआत हुई थी जिसमें 26 दलों के साथ विपक्षी खेमे ने अपना दमखम दिखाया. आज महाबैठक का दूसरा दिन है जहां बेंगलुरु में कई विपक्षी पार्टियां एकत्रित होंगी और लोकसभा चुनाव को लेकर अपनी आगे की रणनीति तय करेंगी. दूसरी ओर भाजपा के नेतृत्व वाली NDA ने भी दिल्ली में महाबैठक बुलाई है जिसमें 30 से अधिक दलों के शामिल होने की संभावना जताई जा रही है.
बता दें, विपक्षी दलों की ये दूसरी बैठक है इससे पहले 23 जून को बिहार की राजधानी पटना में विपक्षी दल एकतत्रित हो चुके थे. हालांकि उस समय केवल 15 दल ही शामिल हुए थे. इस बैठक के मायने अलग निकाले जा रहे हैं जो कांग्रेस के नेतृत्व में हो रही है. कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, राहुल गांधी, टीएमसी चीफ और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, बिहार के मुख्यमंत्री और जेडीयू नेता नीतीश कुमार, डीएमके चीफ और तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन, राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव समेत कई दलों के नेता सोमवार को हुए डिनर में दिखाई दिए थे. बता दें, विपक्षी दलों की महाबैठक के बाद डिनर मीटिंग भी रखी गई थी जिसे लेकर कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने बताया था कि इस दौरान सिर्फ अनौपचारिक बातचीत हुई जहां रात का खाना खाया गया.
दो दिवसीय महाबैठक के पहले दिन बाद कांग्रेस अध्यक्ष खड़गे ने ट्वीट कर लिखा है, ‘अच्छी शुरूआत तो आधा काम पूरा! समान विचारधारा वाले विपक्षी दल सामाजिक न्याय, समावेशी विकास और राष्ट्रीय कल्याण के एजेंडे को बढ़ावा देने के लिए मिलकर काम करेंगे. हम भारत के लोगों को नफरत, विभाजन, आर्थिक असमानता और लूट की निरंकुश और जनविरोधी राजनीति से मुक्त करना चाहते हैं. हम ऐसा भारत चाहते हैं जो न्याय, स्वतंत्रता, समानता और बंधुत्व के संवैधानिक सिद्धांतों द्वारा शासित हो. हम ऐसा भारत चाहते हैं जो सबसे कमजोर व्यक्ति को आशा और विश्वास दे. एकजुट हम खड़े हैं, इस भारत के लिए.’