समाज सेवी नीरव सभाया गुजरात के सूरत शहर से ताल्लुक रखते हैं. नीरव सभाया को अपने कंफर्ट से हटकर कुछ अलग करने के लिए जाना जाता है. नीरव सभाया का मददगार स्वभाव और नरम दिल उन्हें लोगों के बीच का आदमी बनाता है. वह एक समाज सुधारक के तौर पर काम करते हैं और उन्हें समाज का शुभचिंतक के रूप में भी जाना जाता है.
हम में से ऐसे कितने लोग हैं जो अपने घर, नौकरी या बिजनेस के कम्फर्ट जोन को छोड़कर ज़रूरतमंद लोगों की मदद करने का फैसला करते हैं ? जवाब बिल्कुल साफ है – लाखों में एक. ऐसे ही एक इंसान हैं नीरव सभाया, जो गुजरात के शहर सूरत से ताल्लुक रखते हैं , और अपने शहर में एक प्रसिद्ध कपड़ा निर्माता के रूप में जाने जाते हैं.
कुछ वर्षों तक वह पावर लूम बुनाई में रहे जब तक कि उन्होंने तय नहीं किया था कि उन्हें जीवन से कुछ और चाहिए. इसी वजह से जब उन्होंने लोगों की मदद करने का फैसला किया तो जल्द ही, वे सचिन पांडेसरा, जी॰आई॰डी॰सी॰ (सूरत) क्षेत्र के नेता बने. वह फेडरेशन ऑफ गुजरात वीवर्स वेलफेयर एसोसिएशन (एफओजीडब्ल्यूए) के समिति सदस्य भी हैं.
वह नीरव सभाया ही थे जिन्होंने 100 से अधिक बुनकरों के लिए खड़े होने का साहस दिखाया और डीजीवीसीएल ऑफिस और करघों(लूम्स) में बिजली की आपूर्ति और बिजली कटौती की समस्या को लेकर आवाज बुलंद किया. उनकी मेहनत रंग लाई और यह समस्या अब नियंत्रण में है.
नीरव सभाया का मददगार स्वभाव और नरम दिल उन्हें लोगों के बीच का आदमी बनाता है. वह एक समाज सुधारक के तौर पर काम करते हैं और उन्हें समाज का शुभचिंतक के रूप में भी जाना जाता है. वह जरूरतमंद लोगों की हमेशा मदद करते हैं. लॉकडाउन के दौरान जिन लोगों के पास अपना पेट भरने के लिए पैसे नहीं बचे थे उन लोगों के बीच उन्होंने 10,000 से ज्यादा खाद्य किट्स बाँटे, जिसमें सभी तरह की सब्जियां और किराने के सामान शामिल थे.
यहाँ तक कि उन्होंने “पस्ती दान से पुस्तक दान” नामक एक सामाजिक पहल को समर्थन दिया और उसमें अहम भूमिका निभाई. यह अभियानऐसे लोगों का एक समूह है जो झुग्गी-झोपड़ी वाले क्षेत्रों व गरीब बच्चों को नि:शुल्क शिक्षण से संबंधित किट्स मुहया कराते हैं जिससे वे खुद को शिक्षित कर सकें.
बहुत कम उम्र में ही नीरव अपने पारिवारिक कापड़-व्यवसाय से जुड़ गए और लोगों को यथासंभव मदद करने के लिए सामाजिक पहलों में शामिल हो गए. निश्चित रूप से उनका दिल सोने का है और हम ये कह सकते हैं कि दुनिया में ऐसे बहुत कम लोग बचे हैं जो लोगों की भलाई केलिए खड़े होते हैं और उनको सपोर्ट करते हैं. नीरव सभाया निश्चित रूप से हम सभी के लिए एक प्रेरणामयी हैं.