गंगा की सफाई पर सही तरीके से काम न होने से नाराज एनजीटी ने असंतोष जाहिर किया है. इसको लेकर जस्टिस एके गोयल की बेंच ने कहा कि गंगा नदी की सफाई पर बड़े बड़े दावे तो हुए पर काम नहीं हुआ.
नई दिल्ली. गंगा की सफाई न होने को लेकर राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) ने गुरुवार को कड़ी नाराजगी जाहिर की है. एनजीटी ने कहा है कि इसकी सफाई पर बेहद कम काम हुआ है स्थिति काफी खराब है. इसके अलावा इसपर जस्टिस ए के गोयल की बेंच ने कहा है कि गंगा को लेकर बड़े-बड़े दावे तो हुए पर काम नहीं हो सका. साथ ही कहा गया कि गंगा की सफाई पर लगातार नजर बनाए रखना जरूरी है. इसपर सर्वेक्षण किया जाए और पता लगाया जाए कि आम आदमी इसके बारे में क्या सोच रखता है.
बेंच ने कहा कि इस सर्वेक्षण की प्रतिक्रिया इससे जुड़े अधिकारियों को मेल के जरिए भेजी जा सकती है. एके गोयल की बेंच ने कहा कि गंगा नदी देश की सबसे प्रतिष्ठित नदी है जिससे 100 करोड़ लोगों की आस्था जुड़ी है लेकिन हम इसकी रक्षा तक नहीं कर पा रहे हैं. इसकी साफ सफाई के लिए हमे एक प्रभावशाली योजना बनानी चाहिए.
गौरतलब है कि इससे पहले एनजीटी ने बीच गंगा नदी को साफ करने के लिए केंद्र के अलावा उत्तर प्रदेश के साथ उत्तराखंड सरकार के कामों की रिपोर्ट न सौंपने को लेकर फटकार लगा चुकी है. वहीं जस्टिस गोयल के अलावा जस्टिस जवाद रहीम और एससस राठौड़ के हरित पैनल ने गंगा के कायाकल्प के लिए कुछ निर्देश जारी किए थे. पैनल ने कहा कि गंगा की सफाई के लिए दो सालों के भीतर 7 करोड़ खर्च किए जा चुके हैं. ये गंभीर समस्या हो गया है.
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