नई दिल्ली: केंद्र सरकार अब लक्षद्वीप को पर्यटन का एक प्रमुख स्थल बनाने के प्रयासों में जुट गई है. सरकारी सूत्रों के हवाले से पता चला है कि, केंद्र सरकार लक्षद्वीप के मिनिकॉय द्वीप समूह में एक नया एयरपोर्ट (New Airport in Lakshadweep) विकसित करने की योजना बना रही है. यह एयरपोर्ट लड़ाकू जेट, सैन्य […]
नई दिल्ली: केंद्र सरकार अब लक्षद्वीप को पर्यटन का एक प्रमुख स्थल बनाने के प्रयासों में जुट गई है. सरकारी सूत्रों के हवाले से पता चला है कि, केंद्र सरकार लक्षद्वीप के मिनिकॉय द्वीप समूह में एक नया एयरपोर्ट (New Airport in Lakshadweep) विकसित करने की योजना बना रही है. यह एयरपोर्ट लड़ाकू जेट, सैन्य परिवहन विमानों और वाणिज्यिक विमानों को संचालित करने में सक्षम होगा.
सरकारी सूत्रों ने बताया कि सरकार के पास पहले भी मिनिकॉय द्वीप समूह में नए हवाई क्षेत्र (New Airport in Lakshadweep) को विकसित करने के लिए प्रस्ताव भेजे गए हैं. सैन्य दृष्टिकोण से यह संयुक्त उपयोग वाला रक्षा हवाई क्षेत्र भारत के लिए बहुत बेहतर साबित होगा, क्योंकि इसके बनने का बाद इसका उपयोग अरब सागर और हिंद महासागर क्षेत्रों में नजर रखने के लिए किया जा सकेगा.
बता दें कि अगर मिनिकॉय द्वीप समूह में यह एयरपोर्ट बन जाती है, तो इससे भारतीय वायु सेना को भी सुविधा मिलेगी. वायु सेना मिनिकॉय से ऑपरेशन संचालित करने में अग्रणी होगी. अभी द्वीप क्षेत्र में केवल एक हवाई पट्टी है, जो अगत्ती में है. इस हवाई पट्टी पर हर तरह के विमानों की लैंडिंग नहीं हो सकती है. ऐसे में एक यहां एक संयुक्त उपयोग वाले एयरपोर्ट की काफी जरूरत है. इससे यहां पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा.
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