New Delhi: नीट प्रवेश परीक्षा कैंसिल क्यों नहीं हुई .इसपर सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि पेपर लीक बड़े स्तर पर नहीं हुआ .यह केवल पटना और हजारीबाग तक ही सीमीत था .व्यवस्थित तरीके से लीक नहीं किया गया था .शीर्ष अदालत ने अपने फैसले में कहा कि एनटीए की ढांचागत प्रक्रियाओं की चर्चा हमने प्रमुखता से किया है.छात्रों की भलाई को देखते हुए परीक्षा कैंसिल नहीं कर सकते है.
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हमने जो खामियां गिनाई है केंद्र सरकार को उसे इसी साल ठीक करना होगा. ताकि ऐसी गलती भविष्य में दोबारा दोहराई न जांए.इसके अलावा कोर्ट ने एजेंसी के कामकाज की समीक्षा करने और परीक्षा सुधारों को लेकर केंद्र की तरफ से नियुक्त समिति के दायरे का भी विस्तार किया है.
मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि एनटीए को इस मामले में अपने उलट-फेरों से अब बचना चाहिए.एनटीए के ये उलट-फेर छात्रों के लिए सही नहीं है. कोर्ट ने एनटीए से परीक्षा केंद्र बदलने की अनुमति देने और नए पंजीकरण की इजाज़त देने के लिए एक पिछले दरवाजे खोलने के लिए सवाल किया. मुख्य न्यायाधीश ने एनटीए के 1563 छात्रों को गलत प्रश्न पत्र दिए जाने के वजह से समय की नुकसान की भरपाई करने के लिए ग्रेस मार्क्स देने के फैसले पर भी सवाल उठाया है.
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