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शहीद कैप्टन अंशुमान की पत्नी पुरस्कार लेते हुईं भावुक, बोलीं वो कहते थे साधरण मौत नहीं मरूंगा

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने शुक्रवार को राष्ट्रपति भवन में सेना और अर्ध सैनिक बलों के 36 जवानों को शौर्य व कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया.

Martyr Captain Anshuman wife emotional while receiving the award
inkhbar News
  • July 6, 2024 10:03 pm Asia/KolkataIST, Updated 9 months ago

नई दिल्ली: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने शुक्रवार को राष्ट्रपति भवन में सेना और अर्ध सैनिक बलों के 36 जवानों को शौर्य व कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया. इस दौरान शहीद कैप्टन अंशुमान सिंह को सियाचिन में आग लगने की घटना के दौरान बहादुरी दिखाने के लिए कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया. इसे ग्रहण करने के लिए कैप्टन अंशुमन की पत्नी और मां राष्ट्रपति भवन पहुंची. शहीद कैप्टन अंशुमान की पत्नी स्मृति पुरुस्कार को स्वीकार करते हुए बेहद भावुक नज़र आई और पति अंशुमान को याद करते हुए कहा कि ‘वो कहते थे मैं अपने सीने पर पीतल यानी गोली खाकर मारूंगा, ना कि साधरण मौत मरूंगा’.

कॉलेज में पहली नजर में प्यार हो गया

स्मृति बताती है कि ‘हम इंजीनियरिंग कॉलेज में पहले दिन पहली बार मिले और पहली नजर का प्यार हो गया. मैं नाटकीय होना नहीं चाहती लेकिन यह सच है. वहीं एक महीने बाद ही उन्हें सशस्त्र बल मेडिकल कॉलेज (एएफएमसी) के लिए सेलेक्ट किया गया. लेकिन उस एक महीने की मुलाक़ात ने सब कुछ बदल दिया. हमारे रिश्तें ने 8 साल का सफर तय कर लिया और हमने शादी करने का निर्णय लिया। हालांकि, दुर्भाग्य से हमारे विवाह के दो महीने के अंतराल में ही कैप्टन की तैनाती सियाचिन में हो गई’. वहीं दुर्घटना से एक दिन पहले 18 जुलाई को हमारे बीच काफी देर तक बात हुई कि आने वाले 50 सालों में हमारा जीवन कैसा होगा।

कई लोगों को धधकती आग से बचाया

कैप्टन अंशुमान पंजाब फोर्स के साथ सियाचिन ग्लेशियर क्षेत्र में बतौर चिकित्सा अधिकारी तैनात थे और 19 जुलाई, 2023 को शॉर्ट सर्किट के कारण सुबह 3 बजे के करीब भारतीय सेना के गोला-बारूद के ढेर में आग लग गई. कैप्टन ने फाइबरग्लास की एक इमारत को आग की लपटों से घिरा हुआ देखा और आग में फसें लोगों को बचाने में जुट गए. इन दौरान कैप्टन चार से पांच लोगों को बचने में सफल रहे. लेकिन उस वक़्त तक आग जल्द ही पास के चिकित्सा जांच कक्ष तक फ़ैल गई. कैप्टन वापस उस इमारत में गए, लेकिन काफी कोशिशों के बावजूद भी वह वापस नहीं आ पाए. जब मुझे 19 जुलाई, 2023 को फ़ोन से यह ख़बर मिली तो लगभग 7-8 घंटे तक हम मानने को तैयार नहीं थी कि यह ख़बर सच है और ऐसा कुछ हुआ है.

 

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