नई दिल्ली। मणिपुर में हुई हिंसा के बीच सोमवार (13 नवंबर) को केंद्रीय गृह मंत्रालय (MHA) ने बड़ा एक्शन लिया है। मंत्रालय ने मैतेई के उग्रवादी संगठन पीपुल्स लिबेरशन आर्मी (PLA) को पांच साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया है। पांच साल के लिए लगा बैन पीएलए की पॉलिटकल विंग रिवोल्यूशनरी पीपुल्स फ्रंट (RPF) और […]
नई दिल्ली। मणिपुर में हुई हिंसा के बीच सोमवार (13 नवंबर) को केंद्रीय गृह मंत्रालय (MHA) ने बड़ा एक्शन लिया है। मंत्रालय ने मैतेई के उग्रवादी संगठन पीपुल्स लिबेरशन आर्मी (PLA) को पांच साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया है।
पीएलए की पॉलिटकल विंग रिवोल्यूशनरी पीपुल्स फ्रंट (RPF) और यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ( UNLF) को भी पांच वर्ष के लिए गृह मंत्रालय ने गैरकानूनी संगठन करार दिया है। इसके साथ ही पीएलए की आर्मी विंग मणिपुर पीपुल्स आर्मी (MPA) पर भी यह कार्रवाई की गई है। पीपुल्स रिवोल्यूशनरी पार्टी ऑफ कंगलीपाक (PREPAK), रेड आर्मी और कंगलीपाक कम्युनिस्ट पार्टी (KCP) पर भी गृह मंत्रालय द्वारा पांच साल के प्रतिबंध लगा दिया गया है।
गृह मंत्रालय ने इस मामले पर कहा कि केंद्र सरकार की राय है कि अगर मैतई चरमपंथी संगठनों पर तत्काल अंकुश और नियंत्रण नहीं किया गया तो उन्हें अपनी अलगाववादी, विध्वंसक, आतंकवादी और हिंसक गतिविधियों को बढ़ाने के लिए अपने कैडर को संगठित करने का अवसर मिल जाएगा। सरकार द्वारा कहा गया किवे भारत की संप्रभुता और अखंडता के लिए हानिकारक ताकतों के साथ मिलकर देश-विरोधी गतिविधियों का प्रचार करेंगे, लोगों की हत्याओं में शामिल होंगे तथा पुलिस और सुरक्षाबलों के जवानों को निशाना भी बनाएंगे।