मुम्बई: महाराष्ट्र में आवारा कुत्तों की बढ़ती संख्या को काबू पाने के लिए विधायक ओमप्रकाश बाबाराव कडू उर्फ बच्चू कडू के बयान पर अब नया विवाद खड़ा हो गया है. उन्होंने कहा कि आवारा कुत्तों को असम भेजना चाहिए क्योंकि वहां के लोग भोजन के रूप में कुत्तों को खाते हैं. एक बेहतर उपाय बताते […]
मुम्बई: महाराष्ट्र में आवारा कुत्तों की बढ़ती संख्या को काबू पाने के लिए विधायक ओमप्रकाश बाबाराव कडू उर्फ बच्चू कडू के बयान पर अब नया विवाद खड़ा हो गया है. उन्होंने कहा कि आवारा कुत्तों को असम भेजना चाहिए क्योंकि वहां के लोग भोजन के रूप में कुत्तों को खाते हैं. एक बेहतर उपाय बताते हुए कहा कि आवारा कुत्तों को पकड़ने का काम फिलहाल एक शहर से शुरू किया जाना चाहिए. अगर यह सफल हो जाता है तो पूरे राज्य में इसे लागू करना चाहिए।
कडू ने महाराष्ट्र विधानसभा में विधायक प्रताप सरनाईक और अतुल भटखलकर की ओर से आवारा कुत्तों की समस्या पर यह बयान दिया है. उन्होंने बताया कि राज्य से सभी आवारा कुत्तों को असम भेजना बुद्धिमानी है क्योंकि वहां के लोग कुत्ते खाते हैं. असम की अपनी हालिया यात्रा का हवाला देते हुए ओमप्रकाश बाबाराव कडू उर्फ बच्चू कडू ने कहा कि असम में कुत्तों को करीब 8,000-9,000 रुपये तक में बेचा जाता है और उन्होंने व्यापारियों से महाराष्ट्र में आवारा कुत्तों के खतरे से निपटने के लिए समाधान निकाला है.
वर्ल्ड फॉर ऐनिमल्स के संस्थापक तरोनिश बलसारा ने इस तरह के असंवेदनशील बयान पर विधायक को आड़े हाथों लिया. उन्होंने बताया कि विधायक का बयान सरकार की ओर से जानवरों के लिए हो रहे अच्छे काम के खिलाफ है. कुत्तों के बारे में इस तरह सोचना पूरी तरह गलत है।
तरोनिश बलसारा ने कहा कि लोग पशु कानूनों के बारे में अनजान हैं, इसलिए उन्हें पहले जागरूक होने की आवश्यकता है. उन्होंने बताया कि उन्हें असम में कानूनों के बारे में नहीं पता है, लेकिन महाराष्ट्र में कुत्तों को अन्य राज्य भेजना कानून के खिलाफ है।
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