Maharashtra Assembly Mumbra Kalwa Seat Election Counting Results 2019 LIVE Updates: Exit Poll seats, leads, Vote Share, Winner, Candidates Shivsena Deepali Jahangir Sayed, NCP Jitendra Awhad: महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए वोटों की गिनती शुरू हो गई है. महाराष्ट्र की मुंब्रा कलवा विधानसभा सीट से शिवसेना प्रत्याशी के तौर पर दीपाली जहांगीर सैयद और एनसीपी प्रत्याशी जितेन्द्र आव्हाड के बीच कड़ी टक्कर है. थोड़ी देर में इस सीट के रूझान मिलना शुरू होंगे जिसके बाद साफ हो जाएगा कि दीपाली जहांगीर सैयद और जितेंद्र आव्हाड में से कौन आगे पीछे है और कौन जीत हार रहा है.
मुंबई. महाराष्ट्र विधानसभा की मुंब्रा कलवा सीट पर मतगणना शुरू हो चुकी है. इस सीट पर बीजेपी के सहयोगी दल शिवसेना के दीपाली जहांगीर सैयद और एनसीपी प्रत्याशी जितेंद्र आव्हाड के बीच मुकाबला है. थोड़ी देर में इस सीट से रूझान आना शुरू हो जाएंगे. जिसके बाद साफ हो जाएगा कि मुंब्रा कलवा से कौनसी पार्टी का उम्मीदवार आगे-पीछे और कौन जीत या हार रहा है.
Maharashtra Mumbra Kalwa constituency assembly election result winner in 2014 elections, महाराष्ट्र 2014 मुंब्रा कलवा विधानसभा चुनाव में किसको मिली कितनी सीट
महाराष्ट्र के मुंब्रा में बीजेपी की विधानसभा जीत की राह बेहद मुश्किल नजर आ रही है. दरअसल, मुंब्रा से जितेंद्र आव्हाड लगातार दो बार जीत दर्ज कराकर विधायक रह चुके हैं. एनसीपी विधायक इस बार भी अपनी जीत दर्ज कराने की पूरी तैयारी में है. अगर ऐसा हुआ तो मुंब्रा में एनसीपी के जितेंद्र आव्हाड अपनी हैट्रिक पूरी कर लेंगे. वहीं महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव 2014 का बात करें तो जितेंद्र आव्हाड 86533 वोट मिले थे, वहीं चुनाव में उन्हें टक्कर दे रहे शिवसेना के दशरथ काशीनाथ पाटिल को 38850 वोट पड़े थे.
Maharashtra Mumbra Kalwa constituency assembly election 2019 key candidates, महाराष्ट्र मुंब्रा कलवा विधानसभा में मुख्य मुकाबला किस-किस पार्टी में
2014 के विधानसभा चुनाव में जितेंद्र आव्हाड ने शिवसेना के दशरथ काशीनाथ पाटिल को 47683 वोटों से करारी हार देकर विधायक बने थे, हालांकि इस बार उनकी जीत की राह इतनी आसान नहीं लग रही है, क्योंकि 2019 महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में मुंब्रा से एनसीपी के जितेंद्र आव्हाड के सामने चुनावी मैदान में खड़ी हैं मराठी एक्ट्रेस और शिवशेना प्रत्याशी दीपाली जहांगीर सैयद अब देखना यह है कि क्या इस बार एनसीपी यहां अपनी हैट्रिक लगा पाने में कामयाब हो पाती है या फिर बीजेप गठबंधन बाजी मार जाऐगी.