मुंबई। महाराष्ट्र में एकनाथ शिंदे की बगावत के कारण से सियासी संकट और गहराता जा रहा है। इस बीच शिंदे गुट के नेता दीपक केसरकर ने कहा कि हम शिवसेना से बाहर नहीं गए हैं. हम शिवसेना पार्टी में ही हैं. हमें किसी ने ये नहीं कहा है कि आप ये करो. ये सब जो […]
मुंबई। महाराष्ट्र में एकनाथ शिंदे की बगावत के कारण से सियासी संकट और गहराता जा रहा है। इस बीच शिंदे गुट के नेता दीपक केसरकर ने कहा कि हम शिवसेना से बाहर नहीं गए हैं. हम शिवसेना पार्टी में ही हैं. हमें किसी ने ये नहीं कहा है कि आप ये करो. ये सब जो किया है हमने अपनी इच्छा से किया है. हम डिप्टी स्पीकर के निर्णय को कोर्ट में चैलेंज करेंगे. हम शिवसेना से अलग नहीं है. हमने शिवसेना का अलग नाम नहीं मांगा है.
वहीं आगे एकनाथ शिंदे गुट के नेता दीपक केसरकर ने कहा कि ‘हम बाला साहेब ठाकरे के विचार को लेकर चलने वाले शिवसैनिक हैं. हमें डराने के लिए डिसक्वालीफिकेशन की धमकी दी जा रही है. लोगों को सड़क पर उतरने के लिए कहा जा रहा है जोकि ग़लत है.
बता दें कि शिवसेना के शिंदे गुट के बागी विधायक दीपक केसरकर ने कहा कि, ‘मैं सभी शिवसेना के लोगों से कहना चाहुंगा कि वो सड़क पर न आएं. हमारे दो तिहाई बहुमत होने की वजह से हम अब भी शिवसैनिक हैं. अगर शिवसेना के नाम को लेकर ठाकरे कैंप चुनाव आयोग के पास जाएगा और चुनाव आयोग का जो आदेश होगा उसका पालन किया जाएगा. बता दूं कि शिवसेना को किसी ने हाइज़ेक नहीं किया है. शिवसेना को कांग्रेस और NCP ने हाइजेक किया था. हम समय की मांग करेंगे. हमें एक सप्ताह का समय तो देना चाहिए था.
दरअसल विधायक केसरकर ने आगे कहा कि, ‘हमें जो समन दिया गया है उसका जवाब देने के लिए वक्त लेंगे. बता दें कि महाराष्ट्र विधानसभा के के डिप्टी स्पीकर ने एकनाथ शिंदे समेत 16 विधायकों को नोटिस जारी कर 27 जून तक जवाब मांगा है
महाराष्ट्र विधानसभा के डिप्टी स्पीकर ने एकनाथ शिंदे समेत 16 विधायकों को नोटिस जारी कर 27 जून तक जवाब मांगा है. नोटिस में कहा गया है कि क्यों न आपकी सदस्यता रद्द कर दी जाए? दरअसल, शिवसेना ने 16 बागी विधायकों की सदस्यता रद्द करने की अर्जी शुक्रवार को डिप्टी स्पीकर को दी थी, जिसके बाद नोटिस जारी किया गया था.
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