चंडीगढ़: तरनतारन के सरहाली थाने पर आरपीजी हमले की जिम्मेदारी लेते हुए खालिस्तानी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने अपनी धमकी में कहा कि हमने पंजाब के हर घर में रॉकेट लॉन्चर पहुंचाए हैं. पंजाब के मुख्यमंत्री और डीजीपी को दी गई धमकी में उन्होंने कहा कि ऐसे और हमले होंगे। वहीं दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम […]
चंडीगढ़: तरनतारन के सरहाली थाने पर आरपीजी हमले की जिम्मेदारी लेते हुए खालिस्तानी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने अपनी धमकी में कहा कि हमने पंजाब के हर घर में रॉकेट लॉन्चर पहुंचाए हैं. पंजाब के मुख्यमंत्री और डीजीपी को दी गई धमकी में उन्होंने कहा कि ऐसे और हमले होंगे। वहीं दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने इस घटना के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई के निर्देश जारी कर दिए है.
तरनतारन में हुए कम तीव्रता के विस्फोट के बाद मौके पर पहुंचे पंजाब के डीजीपी गौरव यादव ने कहा कि प्रारंभिक जांच में पता चला है कि ग्रेनेड पिछली रात करीब 11 बजकर 22 मिनट के दरमियान दागा गया। यह सरहाली थाने के सर्विस सेंटर से जा टकराई। यूएपीए के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है. फोरेंसिक टीम यहां पहुंच चुकी है और सेना की टीम भी यहां है। उन्होंने कहा कि पुलिस घटना के सभी पहलुओं की जांच करेगी। उन्होंने कहा कि यूरोप, उत्तरी अमेरिका में पाकिस्तान में बैठे प्रबंधकों और संचालकों के संपर्क में आने वाले आपराधिक तत्वों के लिंक की जांच की जा रही है. ताकि असली अपराधियों पर जल्द से जल्द शिकंजा कसा जा सके.
डीजीपी गौरव यादव ने बताया कि इस साल करीब 200 ड्रोन क्रासिंग की गई। पिछले महीने कई सारे ड्रोन रोके गए हैं। हेरोइन और हथियार की भी जब्ती की गई हैं। इस वजह से दुश्मन के जहन में खौफ है और ध्यान भटकाने के लिए वो रात में कायरतापूर्ण हमलों को अंजाम दे रहे हैं.
पंजाब के तरनतारन के सरहाली थाने पर हुए हमले को लेकर जहां भारतीय जनता पार्टी ने राज्य सरकार को घेरा है. पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता अनिल सरीन ने कहा कि पहले मोहाली में खुफिया मुख्यालय पर हमला और अब थाने पर हमला वाकई चिंता का विषय है. आईबी की तरफ से जारी किए अलर्ट के बाद भी ऐसी घटनाएं अंजाम दी जा रही है. सरीन ने कहा, ‘जिनके पास सुरक्षा है, उनकी हत्या हो जाए हैं. उन्होंने प्रधानमंत्री भगवंत मान से अरविंद केजरीवाल और राघव चड्ढा के चंगुल से निकलने और दिल्ली से नेतृत्व लेने के बजाय राज्य के हालात पर ध्यान देने की गुज़ारिश की है.