माइक्रोसॉफ्ट कंपनी ने जारी एक रिपोर्ट में कहा है कि रूसी सरकार समर्थित हैकरों ने पिछले कुछ समय के दौरान यूक्रेन में दर्जनों संगठनों पर साइबर हमला कर उनके डेटा को नष्ट कर दिया है. नई दिल्ली: रूस और यूक्रेन की जंग को दो माह से अधिक का समय बीत चुका है. रूस और यूक्रेन […]
माइक्रोसॉफ्ट कंपनी ने जारी एक रिपोर्ट में कहा है कि रूसी सरकार समर्थित हैकरों ने पिछले कुछ समय के दौरान यूक्रेन में दर्जनों संगठनों पर साइबर हमला कर उनके डेटा को नष्ट कर दिया है.
नई दिल्ली: रूस और यूक्रेन की जंग को दो माह से अधिक का समय बीत चुका है. रूस और यूक्रेन के बीच छिड़ी इस जंग में हालात बेहद गंभीर हो चुके है.
रूस न केवल गोला बारूद और मिसाइल बल्कि यूक्रेन पर साइबर अटैक भी कर रहा है. जुंग- ए मौत के बीच रूस के हैकर्स की टीम साइबर अटैक करके यूक्रेन को कमजोर कर रही है.
बता दें कि, रूसी सरकार समर्थित हैकरों ने पिछले कुछ समय के दौरान यूक्रेन में दर्जनों संगठनों पर साइबर हमला कर उनके डेटा को नष्ट कर दिया है और सूचनाओं का एक अराजक माहौल पैदा कर दिया है. इतना ही नही हैकर मार्च 2021 से इस हमले की तैयारी कर रहे थे, ताकि वे नेटवर्क को हैक कर रणनीतिक और युद्धभूमि की खुफिया सूचनाएं एकत्र कर सकें और भविष्य में उसका इस्तेमाल कर सकें. मिली जानकारी के अनुसार, युद्ध के दौरान हैकरों ने नागरिकों की विश्वसनीय जानकारी और महत्वपूर्ण सेवाओं की पहुंच तक को भी बाधित करने का प्रयास किया है.
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, रूस ने यूक्रेन में जारी युद्ध के बीच नाटो के दो सदस्य देशों बुल्गारिया और पोलैंड की गैस आपूर्ति रोक कर नया मोर्चा खोल दिया है. रूस ने ताजा चेतावनी में कहा है कि वह यूरोपीय संघ के अन्य देशों की भी गैस आपूर्ति रोक सकता है. इसके साथ ही 27 सदस्यीय यूरोपीय संघ के दशों की चिंता बढ़ गई है. वहीं रूबल में भुगतान से इनकार करने पर अन्य यूरोपीय देशों की भी गैस आपूर्ति रोकी जा सकती है.
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