100 की आयरन लेडी Part 62: इमरजेंसी के ऐलान के अगले दिन सुबह इंदिरा ने बुलाई केबिनेट की मीटिंग. दिन में केबिनेट की पॉलटिक्ल अफेयर कमेटी मीटिंग के बाद आई के गुजराल जब बाहर आए तो संजय बाहर ही खड़े थे. संजय ने एजुकेशन मिनिस्टर नुरुल हसन से कहा, यूनीवर्सिटीज में मुझे आरएसएस से सुहानुभूति रखने वाले लेक्चरर्स की लिस्ट चाहिए.
नई दिल्ली. इमरजेंसी के ऐलान के अगले दिन सुबह इंदिरा ने बुलाई केबिनेट की मीटिंग. दिन में केबिनेट की पॉलटिक्ल अफेयर कमेटी मीटिंग के बाद आई के गुजराल जब बाहर आए तो संजय बाहर ही खड़े थे. संजय ने एजुकेशन मिनिस्टर नुरुल हसन से कहा, यूनीवर्सिटीज में मुझे आरएसएस से सुहानुभूति रखने वाले लेक्चरर्स की लिस्ट चाहिए. साथ ही गुजराल से संजय बोले कि डीडी पर एयर होने वाला हर बुलेटिन पहले मुझे देखना है. इसको सुनकर हैरान रह गए गुजराल.
गुजराल ने संजय गांधी को जवाब दिया, ‘ये मुमकिन नहीं, वो सीक्रेट डॉक्यूमेंट होता है, जिसे मैं भी नहीं देखता जब तक कि एयर नहीं होता. इतने में इंदिरा वापस आईं और पूछा क्या बात है? फिर कहा कि एक बंदा नियुक्त करो जो हर बुलेटिन का टेप पहले पीएम हाउस लेकर आए, गुजराल ने निकलते वक्त इस्तीफा का मूड बना लिया था. लेकिन संजय ने गुजराल को उसी दिन दोबारा पीएम आवास में बुलवा लिया, और सख्त अंदाज में पूछा कि पीएम का सुबह का भाषण आकाशवाणी की सभी वेब लैंथ पर क्यों नहीं चला, गुजराल ने ऐतराज किया, कहा ‘तुम मेरे बेटे से भी कम उम्र के हो, मुझसे बात करना चाहते हो तो पहले इज्जत से बात करना सीखना होगा’. उसके बाद वो फिर रिजाइन का पक्का मूड बनाकर घर चले गए.
बाद में पता चला कि इंदिरा ने उनको दूसरा मंत्रालय थमा दिया है और वीसी शुक्ला को आईबी मिनिस्टर बना दिया. एक एक करके सभी विदेशी संवाददाताओं को देश छोड़ने के लिए कह दिया गया. इंदिरा को पीएम बनाने वाले कामराज ने साउथ के स्टूडेंट्स से कहा कि मुझे ऐसा लगता है कि मुझे जंगल में आंखों पर कपड़ा बांध कर छोड़ दिया गया है, मैं इमरजेंसी के परिणाम विजुअलाइज नहीं कर पा रहा हूं. वीसी शुक्ला और संजय गांधी को किस आरोप में गिरफ्तार किया गया, जानने के लिए देखिए हमारा ये वीडियो शो विष्णु शर्मा के साथ.
इमरजेंसी के दौरान अखबारों ने किया दिलचस्प और क्रिएटिव तरीके से विरोध