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6.1 फीसदी रहेगी 2023 में भारत की विकास दर, IMF ने जताई संभावना

नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष ने मंगलवार को विश्व की अर्थव्यवस्था और भारतीय इकोनॉमी को लेकर बयान दिया है। बता दें , विश्व अर्थव्यवस्था को लेकर IMF ने कहा है कि ग्लोबल ग्रोथ साल 2023 में पहले की अपेक्षा में कम रहने की संभावना होगी । IMF के अनुसार वर्ल्ड इकोनॉमी साल 2023 में 2.9 […]

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6.1 फीसदी रहेगी 2023 में भारत की विकास दर, IMF ने जताई संभावना
  • January 31, 2023 11:36 am Asia/KolkataIST, Updated 2 years ago

नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष ने मंगलवार को विश्व की अर्थव्यवस्था और भारतीय इकोनॉमी को लेकर बयान दिया है। बता दें , विश्व अर्थव्यवस्था को लेकर IMF ने कहा है कि ग्लोबल ग्रोथ साल 2023 में पहले की अपेक्षा में कम रहने की संभावना होगी । IMF के अनुसार वर्ल्ड इकोनॉमी साल 2023 में 2.9 फीसदी की दर से बढ़ सकती है तो वहीं, साल 2022 में इसका अनुमान 3.4 फीसदी था।

इसके अलावा साल 2024 की बात करें तो विश्व की अर्थव्यवस्था में फिर एक बार तेजी देखी जाएगी और यह 3.1 फीसदी के दर से बढ़ेगी। तो वहीं भारत की अर्थव्यवस्था की बात करें तो इस तिमाही में भारत की इकोनॉमी दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ने वाली इकोनॉमी होने वाली है। भारत की अर्थव्यवस्था मौजूदा तिमाही में 6.8 फीसदी की दर से बढ़ रही है, जोकि अगले वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 6.1 फीसदी रहने की संभावना जताई हुई है।

विश्व इकोनॉमी के लिए है ब्राइट स्पॉट

IMF के मुख्य अर्थशास्त्री Pierre-Olivier Gourinchas ने भारतीय अर्थव्यवस्था को लेकर बयान देते हुए बताया है कि अक्टूबर-दिसंबर की बीती तिमाही और जनवरी-मार्च की तिमाही में भारतीय अर्थव्यवस्था 6.8 फीसदी की दर से बढ़ सकती है। इसके बाद अगले वित्त वर्ष 2023-24 की पहली तिमाही में भारत की GDP में गिरावट दर्ज होगी और यह 6.1 फीसदी के दर से आगे बढ़ेगा। बता दें , इस गिरावट के बाद भी भारतीय अर्थव्यवस्था दुनिया की इकोनॉमी के लिए एक ‘ब्राइट स्पॉट’ का काम कर सकती है। इसके अलावा IMF के इकोनॉमिस्ट ने यह भी बताया है वित्त वर्ष 2025 में भारत की अर्थव्यवस्था एक बार फिर से 6.8 फीसदी की दर से बढ़ सकती है। ऐसे में इसमें कई सारी बाहरी फैक्टर्स भी शामिल हो सकती है।

एशिया का ये होगा हाल

तो वहीं , IMF की रिपोर्ट के मुताबिक , एशिया में साल 2023 और 2024 में 5.3 फीसदी और 5.4 फीसदी की ग्रोथ दर्ज की जाएगी। एशिया में ग्रोथ चीन की ग्रोथ पर निर्भर कर सकती है। साल 2022 में चीन में जीरो कोविड नीति के कारण GDP में भारी गिरावट दर्ज करी गई थी और यह 4.3 फीसदी तक पहुंच आ गया था। इन सब के अलावा चीन में जनवरी-मार्च के बीच 0.2 फीसदी की जीडीपी में गिरावट दर्ज को जाएगी और यह 3.0 फीसदी तक पहुंच जा सकती है। बता दें ,पिछले 40 सालों में पहली बार है कि जब विश्व अर्थव्यवस्था की ग्रोथ से कम चीन की GDP दर्ज हुई हो। तो वहीं साल 2023 में चीन की अर्थव्यवस्था 5.2 फीसदी की दर से बढ़ेगी।

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