नई दिल्ली। मालदीव के विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत द्वीप राष्ट्र से इस साल मई तक अपने सैनिक वापस बुला लेगा। मालदीव के विदेश मंत्रालय ने शनिवार (3 फरवरी) को दावा किया कि भारत मालदीव से अपने सैनिक हटा लेगा। अधिकारियों ने कहा कि हिंद महासागर द्वीपसमूह में तैनात करीब 80 सैनिकों की जगह […]
नई दिल्ली। मालदीव के विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत द्वीप राष्ट्र से इस साल मई तक अपने सैनिक वापस बुला लेगा। मालदीव के विदेश मंत्रालय ने शनिवार (3 फरवरी) को दावा किया कि भारत मालदीव से अपने सैनिक हटा लेगा। अधिकारियों ने कहा कि हिंद महासागर द्वीपसमूह में तैनात करीब 80 सैनिकों की जगह भारतीय सिविलियन ले लेंगे। मालदीव ने द्विपक्षीय सहयोग से संबंधित कई मामलों पर दिल्ली में एक उच्च स्तरीय बैठक में बनी सहमति का हवाला देते हुए कहा कि भारतीय सैनिकों का पहला ग्रुप 10 मार्च तक और बाकी 10 मई तक मालदीव से रवाना हो जाएंगे।
इस मामले पर भारत के विदेश मंत्रालय ने कहा कि दोनों देश भारतीय विमानन प्लेटफार्मों के निरंतर संचालन के लिए सहमत हैं। हालांकि, विदेश मंत्रालय ने सेना की वापसी को लेकर किसी समय सीमा का जिक्र नहीं किया। भारत ने कहा कि एक दर्जन चिकित्साकर्मी सहित मालदीव में तैनात भारतीय सैनिक देश के दूरदराज इलाकों में रहने वाले लोगों को मानवीय सहायता तथा चिकित्सा प्रदान करते हैं।
वैश्विक शक्तियां हिंद-प्रशांत क्षेत्र में अपना प्रभाव बढ़ाने के लिए लगातार संघर्ष कर रही हैं। बता दें कि चीन ने मालदीव को अपनी तरफ आकर्षित किया है। आमतौर पर ये पड़ोसी देश (मालदीव) भारत के नजदीक रहा है। नई दिल्ली ने माले को दो हेलीकॉप्टर तथा एक डोर्नियर विमान दिया है, जिनका उपयोग अधिकतर समुद्री निगरानी, खोज और बचाव कार्यों और मेडिकल फैसिलिटी के लिए होता है। बता दें कि वहां मौजूद भारतीय सैनिक इनके संचालन को मैनेज करते हैं।