हाल ही में जेएनयू स्टूडेंट उमर खालिद पर कंस्टीट्यूशन कल्ब में हमला हुआ. जिसकी जिम्मेदारी बहादुरगढ़ क्षेत्र के निवासी दो युवकों शाहपुर के द्रवेश और मांडोठी के नवीन दलाल ने ली. ऐसे में नवीन दलाल की दादी ग्यानो देवी ने एक बयान में कहा है कि मेरा पोता गौरक्षा का काम में व्यस्त रहता है.
नई दिल्ली. जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी के छात्र उमर खालिद पर सोमवार को कंस्टीट्यूशन क्लब के बाहर हुए जानलेवा हमले की जिम्मेदारी बहादुरगढ़ क्षेत्र के निवासी दो युवकों ने ली. वीडियो जारी कर जिम्मेदारी लेने वाले शाहपुर के द्रवेश और मांडोठी के नवीन दलाल ने 17 अगस्त को क्रांतिकारी करतार सिंह सराभा के निवास पर आत्मसमर्पण की भी बात कही है. बीते गुरूवार को दिनभर व्हाट्स एप पर यह वीडियो वायरल रहा. नवीन दलाल की दादी ग्य़ानो देवी ने कहा कि मुझे नहीं पता कि मेरा पोता कहां है, वह पांच दिन पहले बिना कुछ बताए घर से निकला. जब पूछा तो उसने कहा कि जरूरी काम से जा रहा हूं शाम तक आउंगा लेकिन वह अभी तक नहीं लौटा है. ग्यानो देवी नवीन की अकेली जीवित रिश्तेदार हैं.
ग्यानो देवी ने कहा कि उसके जाने के बाद से मेरी उससे कोई बात नहीं हुई लेकिन मुझे चिंता नहीं है. गौ रक्षक के रूप में उसका काम उसे अक्सर कई दिनों तक घर से दूर रखता है. ये कोई पहली बार नहीं हुआ है. एक जमींदार का पोते नवीन दलाल का जन्म मनडोही गांव में 1992 में हुआ था. उसने अपनी स्कूलिंग निजी स्कूल से की है लेकिन उसने ग्रेजुएशन रोहतक के ऑल इंडिया जाट हीरोज मेमोरियल कॉलेज से किया.
ग्यानो देवी ने बताया कि ग्रेजुएशन पूरा करने के बाद दलाल गौ रक्षक सेना का हिस्सा बन गया. वह कई सालों से गौरक्षा से जुड़ा हुआ है. जब दलाल की दादी से दलाल द्वारा फेसबुक पर पोस्ट कर गुनाह कबूलने की बात कही गई तो उन्होंने कहा कि उन्हें इस बारे में कुछ नहीं पता.
पीएम से बोले उमर खालिद- वादा करिए नरेंद्र मोदी सरकार की आलोचना करने वालों पर हमले नहीं होंगे
JNU छात्र नेता शेहला रशीद का आरोप- हिंदूवादी माफिया डॉन रवि पुजारी ने दी जान से मारने की धमकी