Wayanad Landslides: वायनाड में भारी बारिश और भौगोलिक स्थितियों ने बढ़ाई तबाही

Wayanad Landslides: वायनाड, केरल के उत्तर-पूर्व में स्थित है और यह केरल का एकमात्र पठारी इलाका है। यह क्षेत्र मिट्टी, पत्थर और पेड़-पौधों से ढका हुआ है, जिसकी ऊंची-नीची पहाड़ियों पर बसे हुए हैं। जियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया की 2021 की रिपोर्ट के अनुसार, केरल का 43% इलाका लैंडस्लाइड प्रभावित है। वायनाड की 51% जमीन पहाड़ी ढलान वाली है, जिससे यहां भूस्खलन की संभावना बहुत अधिक रहती है।

वायनाड का पठार वेस्टर्न घाट में 700 से 2100 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। मानसून की अरब सागर वाली शाखा वेस्टर्न घाट से टकराकर ऊपर उठती है, जिसके कारण इस इलाके में मानसून के दौरान बहुत बारिश होती है।

काबिनी नदी में बाढ़ का कारण

वायनाड में काबिनी नदी है, जिसकी सहायक नदी मनंतावडी ‘थोंडारमुडी’ चोटी से निकलती है। भूस्खलन के कारण इसी नदी में बाढ़ आने से भारी नुकसान हुआ है।

भूस्खलन के ताजा अपडेट्स

वायनाड लैंडस्लाइड के बाद स्वास्थ्य विभाग ने कंट्रोल रूम स्थापित कर दिया है। इमरजेंसी हेल्थ सर्विस के लिए दो हेल्पलाइन नंबर 8086010833 और 9656938689 जारी किए गए हैं। केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज के बताया की केरल के वैथिरी, कलपट्टा, मेप्पाडी और मनंतवडी अस्पताल अलर्ट पर हैं।

कोझिकोड जिले के सभी पर्यटन स्थलों पर पर्यटकों के जाने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है और सभी ग्रेनाइट खदानों को अस्थायी रूप से बंद करने का निर्देश दिया गया है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वायनाड में भूस्खलन में मारे गए लोगों के प्रति शोक व्यक्त किया है और केरल सरकार को केंद्र की ओर से हरसंभव मदद का आश्वासन दिया है। उन्होंने मरने वालों के परिजन को 2-2 लाख रुपए और घायलों को 50 हजार रुपए का मुआवजा देने की घोषणा की है।

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने वायनाड की घटना पर सरकार से हर संभव मदद पहुंचाने की अपील की है। वे कल वायनाड दौरे पर जाएंगे।

केरल के स्वास्थ्य मंत्री ऑफिस ने बताया है कि वायनाड के चूरलमाला में घायलों के इलाज के लिए एक मस्जिद और मदरसे में टेम्परेरी हॉस्पिटल बनाया गया है।

 

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