नई दिल्ली, कोरोना वायरस आने के बाद पहली बार हज यात्रा की शुरुआत होने जा रही है और भारत से चार जून से हज के लिए उड़ानें शुरू हो जाएंगी. इस बीच केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कांग्रेस पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि सब्सिडी के खत्म करने के बावजूद भी […]
नई दिल्ली, कोरोना वायरस आने के बाद पहली बार हज यात्रा की शुरुआत होने जा रही है और भारत से चार जून से हज के लिए उड़ानें शुरू हो जाएंगी. इस बीच केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कांग्रेस पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि सब्सिडी के खत्म करने के बावजूद भी हज यात्रियों पर आर्थिक बोझ ना पड़ना इस बात का प्रमाण है कि दशकों से हज सब्सिडी के नाम पर सियासी छल किया जा रहा था.
केंद्रीय अल्पसंख्यक मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने हज-2022 के लिए हज समन्वयकों, हज सहायकों के दो दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्घाटन करने के दौरान यह भी कहा कि मोदी सरकार ने ‘सब्सिडी के सियासी छल’ को ईमानदारी और पारदर्शिता के साथ खत्म कर दिया है. नकवी ने कहा कि हज 2022 के लिए हज कमेटी के माध्यम से हज यात्री 10 इम्बार्केशन पॉइंट्स (प्रस्थान स्थलों) से जाएंगे, जो इस प्रकार है- अहमदाबाद, बेंगलुरु, कोच्चि, दिल्ली, गुवाहाटी, हैदराबाद, कोलकाता, लखनऊ, मुंबई और श्रीनगर.
केंद्रीय मंत्री ने बताया कि, ‘इस साल भारत से 79,237 मुसलमान हज 2022 पर जाने वाले हैं. इनमें लगभग 50 प्रतिशत महिलाएं होंगे, जिसमें 56 हजार 601 हज यात्री, भारतीय हज कमेटी और 22,636 हज यात्री, ‘हज ग्रुप ऑर्गनाइजर्स’ (NGO) के माध्यम से जाएंगें. वहीं, बिना ‘मेहरम’ (पुरुष रिश्तेदार) के लगभग 2000 मुस्लिम महिलाएं हज 2022 पर जाएंगी. इन्हें लॉटरी सिस्टम से बाहर ही रखा गया है.’
बीते दो सालों से कोरोना वायरस महामारी के कारण सऊदी अरब सरकार की ओर से तय दिशानिर्देशों के चलते भारतीय नागरिक हज यात्रा पर नहीं जा सके थे. हालांकि इस बार सऊदी सरकार ने हज की इजाजत दे दी है, लेकिन यात्रियों की संख्या सीमित ही रखी गई है, जिसके बाद भारत से 79,237 यात्रियों का कोटा तय किया गया है.