9 दिसंबर और 14 दिसंबर को गुजरात में विधानसभा चुनाव होने हैं. मगर उससे पहले सूबे में शराब की तस्करी काफी बढ़ गई है. सोमवार को अहमदाबाद आरआर सेल की टीम ने खेड़ा स्थित एक गांव के गोदाम से 67 लाख रुपये की अंग्रेजी शराब जब्त की. गुजरात के अलग-अलग जिलों में पुलिस ने पिछले एक हफ्ते में छापेमारी कर करीब 50 लाख रुपये की अवैध शराब जब्त की है.
खेड़ाः गुजरात में विधानसभा चुनाव बेहद नजदीक हैं और चुनावों के मद्देनजर अवैध शराब की तस्करी का खेल धड़ल्ले से जारी है. इसी कड़ी में सोमवार को अहमदाबाद आरआर सेल की टीम ने 67 लाख रुपये की अंग्रेजी शराब जब्त की. अवैध शराब का जखीरा खेड़ा जिले के वासणा बृझर्ग गांव के पास जब्त किया गया. अवैध शराब की पेटियों को गांव के पास स्थित गोदाम से बरामद किया गया. अधिकारियों के छापे से वहां हड़कंप मच गया. गोदाम का मालिक फरार है. पुलिस गोदाम मालिक की तलाश कर रही है. पुलिस गोदाम मालिक के बारे में जानकारी भी जुटा रही है.
बता दें कि महात्मा गांधी की जन्मभूमि होने की वजह से गुजरात ‘ड्राई स्टेट’ है यानी ऐसा स्टेट जहां शराब की बिक्री जुर्म है. दूसरे राज्यों से जाने वालों लोगों को वहां परमिट पर शराब मिलती है. गौरतलब है कि हाल में गुजरात चुनाव के मद्देनजर राज्य में शराब की तस्करी काफी बढ़ गई है. आसपास के राज्यों से अवैध तरीके से शराब सूबे में मंगाई जा रही है. राज्य में हरियाणा निर्मित शराब की मांग भी काफी बढ़ गई है. रविवार को जयपुर में दौलतपुरा टोल के पास अवैध शराब से भरा एक ट्रक पुलिस ने पकड़ा. ट्रक से बरामद शराब की कीमत करीब 60 लाख रुपये थी. यह शराब हरियाणा से गुजरात ले जाई जा रही थी.
दूसरी ओर गुजरात के अलग-अलग जिलों में पुलिस ने पिछले एक हफ्ते में छापेमारी कर करीब 50 लाख रुपये की अवैध शराब जब्त की है. एक समय पर शराब के खिलाफ आंदोलन चलाने वाले नेता अल्पेश ठाकोर ने आरोप लगाया कि इस शराब को चुनाव में वोट के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला था. अल्पेश ठाकोर ने आगे कहा कि सरकार और पुलिस की मिलीभगत से गुजरात में बड़े पैमाने पर शराब लाई जाती है. बहरहाल गांधी के गुजरात में जहां शराब पर पाबंदी है, वहीं एक हफ्ते में इतने बड़े पैमाने पर शराब का मिलना आम बात तो हरगिज नहीं हो सकती. अब सवाल यह है कि अवैध शराब कौन और क्यों ला रहा है? उम्मीद है गुजरात चुनाव से पहले पुलिस इस सवाल का जवाब जरूर ढूंढ निकालेगी.