बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने साफ कर दिया था कि जमीन, पब्लिक अॉर्डर और पुलिस को छोड़कर बाकी सारे विषय दिल्ली सरकार ही देखेगी और उप राज्यपाल अनिल बैजल मंत्रिमंडल की सलाह पर ही काम करेंगे. इसके बाद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने लंबे समय से रुकी पड़ी डोरस्टेप डिलीवरी को मंजूरी दे दी है.
नई दिल्ली. सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एक्शन मोड में आ गए हैं। उन्होंने लंबे समय से अटकी पड़ी राशन की डोर स्टेप डिलीवरी को मंजूरी दे दी है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा, राशन की डोर स्टेप डिलीवरी को मंजूरी दे दी गई है. इस प्रस्ताव में जो रुकावटे हैं, उन्हें हटा दिया गया है और खाद्य विभाग से इसे तुरंत लागू करने को कहा है. साथ ही उन्होंने विभाग को रोजमर्रा की गतिविधियों के बारे में जानकारी देने को भी कहा है.
क्या है डोर स्टेप डिलीवरी: केजरीवाल सरकार के मुताबिक डोर स्टेप डिलीवरी में सर्टिफिकेट, ड्राइविंग लाइसेंस जैसी अन्य सुविधाएं आपके घर पहुंचाई जाएंगी. इस योजना के तहत एक मोबाइल सहायक आपके घर आएगा. फीस और जरूरी दस्तावेज लेने के बाद मशीन से उंगलियों के निशान लगवाने की सुविधा घर पर ही मुहैया कराई जाएगी. केजरीवाल सरकार ने कहा कि मोबाइल सहायक जनता के तय वक्त और तारीख पर ही जाएगा.
इससे फायदा यह होगा कि लोगों का सरकारी अॉफिसों में बर्बाद होने वाला समय बचेगा और बिचौलियों से मुक्ति मिलेगी. गौरतलब है कि पिछले साल दिसंबर में एलजी अनिल बैजल ने आम आदमी पार्टी की 40 से ज्यादा सर्विसेज वाली इस योजना पर एक दर्जन से ज्यादा आपत्तियां गिनाई थीं.
दिल्ली सरकार और उपराज्यपाल की शक्तियों पर सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के बावजूद गुरुवार को दोनों पक्षों के बीच एक नई खींचतान शुरू हो गई. आप सरकार ने दावा किया कि स्थानांतरण या अधिकारियों नियुक्ति की शक्तियां उसके पास है, वहीं एक केंद्रीय मंत्री ने कहा कि दिल्ली के केंद्रशासित प्रदेश होने की वजह से इसकी शक्तियां केंद्र सरकार के अधीन है. सर्वोच्च न्यायालय द्वारा बुधवार को दिए निर्णय के कुछ घंटों बाद ही एक गंभीर संकट तब पैदा हो गया, जब दिल्ली के मुख्य सचिव(सेवा) ने उस आदेश को जारी करने से इंकार कर दिया जिसमें कहा गया था कि दिल्ली में मंत्रिपरिषद विभागीय स्थानांतरण और पोस्टिंग का निर्णय करेगी.
Directed dept to keep me informed of daily progress https://t.co/csyYR8XdlH
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) July 6, 2018
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अफसरों में खौफ, अब एलजी नहीं अरविंद केजरीवाल होंगे उनके बॉस
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद सर्विस विभाग ने अरविंद केजरीवाल सरकार का आदेश मानने से किया इनकार