मुंबई। महाराष्ट्र विधान परिषण चुनावों के बाद उद्धव सरकार में बड़ी बगावत के आसार दिख रहे है. सत्ताधारी गठबंधन में शामिल पार्टी शिवसेना के मंत्री एकनाथ शिंदे चुनावों के बाद से शीर्ष नेतृत्व के संपर्क में नहीं है. शिवसेना के लिए परेशानी की बात इसलिए है क्योंकि वो अकेले नहीं गायब हुए हैं बल्कि उनके […]
मुंबई। महाराष्ट्र विधान परिषण चुनावों के बाद उद्धव सरकार में बड़ी बगावत के आसार दिख रहे है. सत्ताधारी गठबंधन में शामिल पार्टी शिवसेना के मंत्री एकनाथ शिंदे चुनावों के बाद से शीर्ष नेतृत्व के संपर्क में नहीं है. शिवसेना के लिए परेशानी की बात इसलिए है क्योंकि वो अकेले नहीं गायब हुए हैं बल्कि उनके साथ 25 विधायक शिवसेना के संपर्क में नहीं है. जिसके बाद अब महाराष्ट्र की महाविकास अघाड़ी सरकार पर संकट के बादल मंडरा रहे है. वहीं, अब बीजपी के नेता किरीट सौमैया ने बड़ा दावा करते हुए कहा, उद्धव ठाकरे की उल्टी गिनती शुरू हो गई है.
बता दें कि बीजेपी नेता किरीट सौमैया ने उद्धव सरकार पर तंज कसते हुए एक ट्वीट में लिखा कि, महाराष्ट्र विधान परिषद चुनाव परिणाम, शिवसेना (माफिया सेना) को 52 वोट मिले. 12 विधायक का विद्रोह (55 शिवसेना + 9 समर्थक = 64) उद्धव ठाकरे की माफिया सरकार का काउंट डाउन शुरू हो गया है. दरअसल, जानकारी के मुताबिक, शिंदे गुजरात के सूरत शहर में किसी होटल में रुके हुए हैं.
महाराष्ट्र की महाविकास अघाड़ी सरकार में मंत्री एकनाथ शिंदे समेत शिवसेना के जो नॉट रिचेबल विधायक में उनके कुल 5 मंत्री शामिल हैं. वहीं अब इन सभी मंत्रियों और विधायकों के नाम सामने आ चुके हैं. इनमें, एकनाथ शिंदे-ठाणे, अब्दुल सत्तार राज्यमंत्री-सिल्लोड, औरंगाबाद शंभुराजे देसाई-राज्यमंत्री, सातारा पाटण, संजय रायमुलकर-मेहकर, संजय राठौड़-दिग्रस, राज्यमंत्री, प्रताप सरनाईक, संजय गायकवाड़-बुलढाणा, यवतमाल, प्रकाश आबिटकर-राधानगरी कोल्हापुर, महेंद्र दलवी, विश्वनाथ भोईर, कल्याण-ठाने, भारत गोगवाले, महाड – रायगढ़, तानाजी सावंत, शांताराम मोरे, श्रीनिवास वनगा, संदीपान भूमरे, माजीवाड़ा-ठाणे, शाहजी पाटिल, संजय शिरसाट, यामिनी जाधव, किशोर पाटिल, गुलाबराव पाटिल, अनिल बाबर, बालाजी किनिकर, रमेश बोरणारे, उदयसिंग राजपूत।
गौरतलब है कि महाराष्ट्र में राज्य सभा चुनाव के बाद विधान परिषद चुनाव में भी बीजेपी ने बड़ा उलटफेर करते हुए 10 में पांच सीट पर जीत हासिल की. इस चुनाव में बड़ी बात ये रही कि शिवसेना और कांग्रेस में जमकर क्रॉस वोटिंग हुई, जिससे बीजेपी का पलड़ा भारी पड़ गया. कहा जा रहा है चुनावों के नतीजों और क्रॉस वोटिंग से नाखुश थे एकनाथ शिंदे।
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