कांग्रेस सांसद रेणुका चौधरी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय भाषण के दौरान उनकी हंसी को लेकर किये गए कमेंट पर उन्होंने पीएम पर तीखा हमला बोला. रेणुका ने साफ शब्दों में कहा कि हंसने पर कोई जीएसटी नहीं है. और ना ही मुझे किसी से हंसने की परमीशन की आवश्यकता है. उन्होंने कहा कि हमारे सांसदों को अभी शिक्षित करने की आवश्यकता है.
नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय अभिभाषण के दौरान कांग्रेस सांसद रेणुका चौधरी की हंसी पर किया गया कमेंट अभी चर्चाओं में है. इस मामले पर रेणुका चौधरी ने प्रतिक्रिया देते हुए रविवार को कहा कि हंसने के लिए किसी की इजाजत लेने की जरूरत नहीं है और ना ही हंसी पर जीएसटी लगती है. रेणुका चौधरी ने कहा कि पीएम मोदी का यह कमेंट महिलाओं के प्रति उनकी मानसिकता को दर्शाता है.
पूर्व केंद्रीय मंत्री रेणुका चौधरी ने संवाददाताओं से कहा कि उन्हें देशभर से महिलाओं का समर्थन मिल रहा है. सोशल मीडिया पर #Laugh like Surpankha, #Lol is a passe and #Laugh Like Renuka Chowdhury जैसे हैशटैग चल रहे हैं. उन्होंने कहा कि मैं पांच बार हूं सांसद हूं. लेकिन प्रधानमंत्री ने मुझे एक नेगेटिव करेक्टर के साथ जोड़ दिया है. लेकिन वे भूल जाते हैं कि आज की महिलाएं बदल रही हैं और वे जानती हैं कि खुद के लिए आवाज कैसे उठानी है. यह महिलाओं के प्रति उनकी मानसिकता को दर्शता है.
रेणुका चौधरी ने पणजी में “डिफिकल्ट डायलॉग्स” कार्यक्रम से इतर पत्रकारों से यह बात कही. सांसद ने कहा कि लोगों का समर्थन उनके सार्वजनिक जीवन के आधार पर मिल रहा है. अगर आप सहीं हैं तो यह सभी पर निर्भर करता है. लेकिन अब यह क्या हो रहा है… हंसने पर कोई नियम नहीं है कि आप कब और कैसे हंसते हो. और हंसी पर कोई जीएसटी भी नहीं है. मैं पांच बार से सांसद हूं और मुझे किसी से हंसने की अनुमति लेने की आवश्यकता नहीं है. मैंने रूढ़िवादी मिथकों को तोड़ा है.
रेणुका चौधरी ने कहा कि मेरी हंसी हमेशा से सहज थी लेकिन अब वह इस बारे में ज्यादा जागरुक हो गई हैं. मैंने अपनी हंसी से अथॉरिटी को चुनौती दी है. संसद कानून बनाता है लेकिन हमें लॉ मेकर्स को इस बारे में शिक्षित करने की आवश्यकता है कि महिलाओं के साथ समानता का व्यवहार कैसे किया जाता है. संसद हमारे समाज का प्रतिबिंब है. उन्होंने कहा कि मैंने अपने पिता का अंतिम संस्कार कर रूढ़ियों को तोड़ा था क्योंकि मेरे पिता ने बेटा बेटी में फर्क नहीं किया था.
बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पिछले सप्ताह संसदीय अभिभाषण के दौरान रेणुका चौधरी हंस पड़ी थीं. इस पर प्रधानमंत्री ने कहा था कि इस हंसी ने मुझे रामायण के पात्र की याद दिला दी. उनका इशारा सूपर्णखा की तरफ था. इस मुद्दे को लेकर कांग्रेस ने बीजेपी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को घेरा था.