मुंबई। महाविकास अघाड़ी सरकार के दौरान अमरावती सांसद नवनीत राणा और पुलिस कमिश्नर आरती सिंह के बीच लगातार जंग चल रही थी सांसद नवनीत राणा और उनके विधायक पति रवि राणा आरती सिंह पर उद्धव ठाकरे के इशारे पर कार्य करने का आरोप लगा रहे थे। साथ ही राणा दंपत्ति कमिश्नर आरती सिंह के ट्रांसफर […]
मुंबई। महाविकास अघाड़ी सरकार के दौरान अमरावती सांसद नवनीत राणा और पुलिस कमिश्नर आरती सिंह के बीच लगातार जंग चल रही थी सांसद नवनीत राणा और उनके विधायक पति रवि राणा आरती सिंह पर उद्धव ठाकरे के इशारे पर कार्य करने का आरोप लगा रहे थे। साथ ही राणा दंपत्ति कमिश्नर आरती सिंह के ट्रांसफर की भी मांग कर रही थी।
कुछ दिन पहले ही एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र सरकार ने वरिष्ठ आईपीएस अधिकारियों के ट्रांसफर की लिस्ट जारी की थी, इस सूची में अमरावती की कमिश्नर आरती सिंह का नाम भी है।
ट्रांसफर लिस्ट में आरती सिंह का नाम आने से सबसे ज्यादा खुश अमरावती से सांसद नवनीत राणा दिख रहीं हैं। जन्होने कमिश्नर आरती सिंह के ट्रांसफर की मांग की थी।
अमरावती से सांसद नवनीत राणा ने कमिश्नर आरती सिंह पर आरोप लगाया था कि, जब वह अमरावती जिले में तैनात थीं तब वहां पर अपराध अपने चरम पर था और अपराधियों पर लगाम लागने में आरती सिंह नाकाम नज़र आ रहीं थीं। साथ ही उन्होने कहा कि, उमेश कोल्हे हत्याकांड कमिश्नर आरती सिंह के तैनात रहते ही हुआ था। शहर में कानून व्यवस्था बद से बदतर होती जा रही थी।
वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी आरती सिंह देश के किसी कमिश्नरेट में पुलिस कमिश्नर के रूप में तैनात होने वाली देश की पहली महिला थीं। कोरोना काल के दौरान उनके काम की बेहद सराहना हुई थी। उस दौरान वह मालेगांव में एसपी पद पर तैनात थीं। लॉकडाउन के दौरान लोगों के साथ समन्वय की भावना स्थापित कर नियमों का पालन करवाया था। पैनिक सिचुएमशन से बचने के लिए उन्होने जागरुकता अभियान भी चलाया था। आईपीएस अधिकारी होने के साथ-साथ आरती सिंह पेशे से डॉक्टर भी हैं।