Cobrapost DHFL Expose: कोबरापोस्ट का सनसनीखेज खुलासा, DHFL ने किया 31,000 करोड़ का घोटाला, SBI, PNB, ICICI समेत 38 बैंकों ने दिए कर्ज

Cobrapost DHFL Expose: खोजी पत्रकारिता के लिए मशहूर कोबरापोस्ट ने दावा किया है कि दीवान हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड (डीएचएफएल) के प्रमोटरों ने 31,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का घोटाला किया है. कोबरापोस्ट की मानें तो डीएचएफएल, जिसका नेट वर्थ 8,700 करोड़ है, ने पब्लिक डिपॉजिट और कर्ज के जरिये 96,000 करोड़ रुपए इकट्ठा किए. डीएचएफएल की एनुअल रिपोर्ट के अनुसार कंपनी ने कुल मिलाकर 36 बैंको से कर्ज के रूप में इतने पैसे जुटाए और उन्हें सेल कंपनियों की मदद से देश-विदेश में निवेश किए. साथ ही डीएचएफएल ने 84,982 करोड़ रुपये की धनराशि अन्य कंपनियों को कर्ज के रूप में दी.

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Cobrapost DHFL Expose: कोबरापोस्ट का सनसनीखेज खुलासा, DHFL ने किया 31,000 करोड़ का घोटाला, SBI, PNB, ICICI समेत 38 बैंकों ने दिए कर्ज

Aanchal Pandey

  • January 29, 2019 8:05 pm Asia/KolkataIST, Updated 6 years ago

नई दिल्लीः प्राइवेट सेक्टर की जानी मानी कंपनी दीवान हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड (डीएचएफएल) में बड़े घोटाले की खबरें सामने आ रही हैं. खोजी पत्रकारिता के लिए फेमस कोबरापोस्ट की मानें तो यह घोटाला 31,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का है. रिपोर्ट्स के मुताबिक, डीएचएफएल का नेट वर्थ 8,700 करोड़ रुपये है. कंपनी ने पब्लिक डिपॉजिट और कर्ज के जरिये 96,000 करोड़ रुपए इकट्ठा किए. डीएचएफएल की एनुअल रिपोर्ट के अनुसार कंपनी ने कुल मिलाकर 36 बैंको से कर्ज के रूप में इतने पैसे जुटाए और उन्हें सेल कंपनियों की मदद से देश-विदेश में निवेश किए. साथ ही डीएचएफएल ने 84,982 करोड़ रुपये की धनराशि अन्य कंपनियों को कर्ज के रूप में दी. जिन बैंको ने डीएचएफएल को लोन दिए, उनमें 32 सरकारी और प्राइवेट बैंक के अलावा 6 विदेशी बैंक भी हैं. कोबरापोस्ट के इस आरोप के बाद कंपनी के शेयर में 11 फीसदी की जबरदस्त गिरावट देखी गई.

  1. कोबरापोस्ट ने घोटाले का पर्दाफाश करने के लिए दिल्ली में मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस किया. प्रेस कॉन्फ्रेंस में पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा, सीनियर जर्नलिस्ट प्रांजॉय गुहा ठाकुरता, अनिरुद्ध बहल, प्रेम शंकर झा, हेमेंद्र हजारी, जोसी जोसेफ और वरिष्ट वकील प्रशांत भूषण मौजूद थे.
  2. कोबरापोस्ट इसे देश का सबसे बड़ा वित्तीय घोटाला बता रहा है. कोबरापोस्ट की टीम ने दावा किया है कि सार्वजनिक तौर पर उपलब्ध दस्तावेजों के आधार पर इस मामले की जांच की गई है और हम इस घोटाले की तह तक गए हैं. मालूम हो कि कपिल वाधवन, अरुणा वाधवन और धीरज वाधवन डीएचएफएल के प्रमुख शेयरहोल्डर हैं.
  3. डीएचएफएल ने स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई) से 11,500 करोड़ रुपये और बैंक ऑफ बड़ौदा से 5,000 करोड़ रुपये लोन के रूप में लिए. इसी तरह पंजाब नैशनल बैंक (पीएनबी) और प्राइवेट बैंक आईसीआईसीआई से भी कर्ज लेने की बात सामने आई है.
  4. इस दौरान डीएचएफएल के मालिकों ने सेल कंपनियों की मदद से भारत समेत दुबई, मॉरीशस, श्रीलंका और ब्रिटेन में प्रॉपर्टी खरीदी. वहीं, डीएचएफएल ने इन आरोपों के बाद कहा है कि कंपनी ने पिछले 3 महीनों के दौरान विभिन्न बैंकों के 17,000 रुपये वापस किए हैं.
  5. उल्लेखनीय है कि कोबरापोस्ट ने अपने इस खुलासे में ये भी दावा किया है कि कपिल वाधवन और धीरज वाधवन की कंपनियां RKW डेवलपर्स, स्किल रिएलटर्स प्राइवेट लिमिटेड और दर्शन डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड ने बीजेपी को वित्तीय वर्ष 2014-15 और 2016-17 के बीच कुल 19.5 करोड़ रुपये का चंदा दिया. 

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