नई दिल्ली: शिक्षाविद् और जलवायु कार्यकर्ता सोनम वांगचुक को दिल्ली पुलिस द्वारा हिरासत में लिए जाने की चर्चा के बीच मुख्यमंत्री आतिशी उनसे मिलने बवाना थाने पहुंची हैं. सोनम वांगचुक लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा देने की मांग को लेकर दिल्ली में मार्च कर रहे थे, लेकिन हरियाणा के रास्ते दिल्ली में प्रवेश करते […]
नई दिल्ली: शिक्षाविद् और जलवायु कार्यकर्ता सोनम वांगचुक को दिल्ली पुलिस द्वारा हिरासत में लिए जाने की चर्चा के बीच मुख्यमंत्री आतिशी उनसे मिलने बवाना थाने पहुंची हैं. सोनम वांगचुक लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा देने की मांग को लेकर दिल्ली में मार्च कर रहे थे, लेकिन हरियाणा के रास्ते दिल्ली में प्रवेश करते समय उन्हें हिरासत में ले लिया गया. आतिशी का आरोप है कि दिल्ली पुलिस ने उन्हें सोनम वांगचुक से मिलने नहीं दिया.
थाने से बाहर आने के बाद आतिशी ने कहा, ”सोनम वांगचुक को गिरफ्तार कर लिया गया है. हालांकि पुलिस ने मुझे थाने में दाखिल करा दिया. सोनम वांगचुक से मिलने की इजाजत नहीं. ये बीजेपी की तानाशाही है. हम वांगचुक का पूरा समर्थन करते हैं। लद्दाख में एलजी शासन ख़त्म होना चाहिए. वहीं उसी तरह दिल्ली में भी एलजी शासन खत्म होना चाहिए. 1947 में देश की जनता को आजादी मिली। वोट देने का अधिकार मिला। संविधान ने इस देश में लोकतांत्रिक अधिकार दिये। दिल्ली हो या लद्दाख, लद्दाख के लोगों का वोट देने का अधिकार छीन लिया गया। दिल्ली की जनता का अधिकार छीनकर एलजी साहब को दिया जा रहा है।
#WATCH | Delhi CM Atishi reached Bawana police station to meet activist Sonam Wangchuk
She says, “People of Ladakh want statehood. Sonam Wangchuk and the people of Ladakh, who were going to visit Bapu’s Samadhi, were arrested. They did not let me meet Sonam Wangchuk. This is the… pic.twitter.com/j5rmK3KCBa
— ANI (@ANI) October 1, 2024
सीएम आतिशी ने व्यंग्यात्मक लहजे में आगे कहा, ”एलजी साहब को पुलिस का फोन आया होगा कि चुनी हुई सरकार के प्रतिनिधि को सोनम वांगचुक से नहीं मिलने दिया जाए. हालांकि हम लद्दाख के लोगों की मांग का समर्थन करते हैं. वहीं दिल्ली को भी पूर्ण राज्य का दर्जा मिलना चाहिए.
आतिशी की पुलिस का क्या हुआ? इस पर उन्होंने कहा, ”पुलिस क्या कहेगी जब उन्हें एलजी साहब का फोन आया है, वे उन्हें मिलने क्यों देंगे? वोटिंग का अधिकार छीनने और संविधान तोड़ने में बीजेपी ने कोई कसर नहीं छोड़ी है. मैं दिल्ली का सीएम हूं और वांगचुक एक महान पर्यावरणविद् और शिक्षाविद् हैं और 150 भाई-बहन लद्दाख से आए हैं। क्या हमें उनसे मिलने का अधिकार नहीं है? मुझे क्यों रोका जा रहा है? भाजपा निहत्थे आम लोगों से डरती है और लोकतंत्र से डरती है।
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