Cash For Query Case: कैश फॉर क्वेरी मामले में आचार समिति की बैठक आज, महुआ मोइत्रा पर हो सकती है कार्रवाई

नई दिल्ली। कैश फॉर क्वेरी यानी लोकसभा में सवाल पूछने के बदले पैसे लेने के मामले में लोकसभा की आचार समिति की आज गुरुवार (09 नवंबर) को अहम बैठक होने वाली है। इस मीटिंग में कमेटी महुआ मोइत्रा के खिलाफ लगे आरोप पर तैयार ड्राफ्ट रिपोर्ट स्वीकार कर सकती है। बता दें कि यह बैठक […]

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Cash For Query Case: कैश फॉर क्वेरी मामले में आचार समिति की बैठक आज, महुआ मोइत्रा पर हो सकती है कार्रवाई

Arpit Shukla

  • November 9, 2023 9:19 am Asia/KolkataIST, Updated 1 year ago

नई दिल्ली। कैश फॉर क्वेरी यानी लोकसभा में सवाल पूछने के बदले पैसे लेने के मामले में लोकसभा की आचार समिति की आज गुरुवार (09 नवंबर) को अहम बैठक होने वाली है। इस मीटिंग में कमेटी महुआ मोइत्रा के खिलाफ लगे आरोप पर तैयार ड्राफ्ट रिपोर्ट स्वीकार कर सकती है। बता दें कि यह बैठक शाम 4 बजे होगी।

क्या है मामला?

भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने महुआ मोइत्रा पर उपहार के बदले व्यवसायी दर्शन हीरानंदानी के कहने पर अडाणी समूह को निशाना बनाने के लिए लोकसभा में सवाल पूछने का आरोप लगाया था। उन्होंने इसकी लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से शिकायत की थी। इसके बाद इस मामले में एक कमेटी गठित की गई। इस 15 सदस्यीय समिति में भाजपा के सात, कांग्रेस के तीन और शिवसेना, बीएसपी, वाईएसआर कांग्रेस पार्टी, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी और जनता दल (यूनाइटेड) के एक-एक सदस्य शामिल हैं।

‘महुआ मोइत्रा के खिलाफ होगी सीबीआई जांच’

वहीं बुधवार (08 नवंबर) को निशिकांत दुबे ने यह दावा किया कि लोकपाल ने महुआ मोइत्रा के खिलाफ सीबीआई जांच का आदेश दे दिया है। हालांकि अभी इस मामले में लोकपाल की तरफ से कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है। इस पर महुआ ने भी पलटवार करते हुए कहा कि सीबीआई को पहले अडाणी समूह के कथित कोयला घोटाले की जांच के लिए एफआईआर दर्ज करनी चाहिए।

महुआ मोइत्रा का निशिकांत दुबे को जवाब

मोइत्रा ने सोशल मीडिया एक्स पर लिखा कि मीडिया से जो मेरा उत्तर जानने के लिए फोन कर रहे हैं। उनसे कहना है कि सीबीआई को 13 हजार करोड़ रुपये के अडाणी कोल स्कैम मामले में पहले प्राथमिकी दर्ज करनी होगी। मोइत्रा ने आगे लिखा कि राष्ट्रीय सुरक्षा का मुद्दा यह है कि कैसे संदिग्ध एफपीआई स्वामित्व वाली (चीनी और संयुक्त अरब अमीरात सहित) अडाणी की कंपनियां भारतीय बंदरगाहों और हवाई अड्डों को खरीद रही हैं।

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