भारतीय जनता पार्टी के सांसद मनोज तिवारी ने लोकसभा की अध्यक्ष सुमित्रा महाजन को पत्र लिखा है. जिसमे उन्होंने सदन में हंगामा मचाने वालों को सजा की पैरवी की है. उन्होंने प्रस्ताव रखा है कि जो सदस्य काम में भंग डाले उनकी सैलरी कांटी जानी चाहिए.
नई दिल्ली. बजट सत्र का 13वां दिन भी हंगामें का भेंट चढ़ गया. इस हंगामें के बाद बीजेपी के सांसद मनोज तिवारी ने लोकसभा की स्पीकर सुमित्रा महाजन को पत्र लिखा कि हंगामा करने और सदन की गरीमा का उल्लंघन करने वाले लोगों को सजा दी जाए. इसके लिए उनकी तनख्वा काटी जानी चाहिए ताकि कोई भी बहुमूल्य समय खराब न कर सके. जिसके बाद तेलंगाना राष्ट्रीय समिति (TRS) की सांसद ने कहा कि ये तो वही बात हो गई कि उल्टा चोर कोतवाल को डांटे. क्योंकि कोई सदन में विरोध नहीं करना चाहता, बल्कि सदन का सुचारू रूप से चलना चाहिए.
एमपी मनोज तिवारी ने कहा कि उन्होंने लोकसभा की अध्यक्ष सुमित्रा महाजन को हंगामे को लेकर पत्र लिखा है. मीडिया के अनुसार मनोज तिवारी ने बताया है कि जनता का प्रतिनिधित्व करने वाले कानून बनाने के जिम्मेदार हैं. सांसदों का काम जनता के लिए काम करना होता है न कि हंगामा मचाना. लेकिन यहां तो सांसद अपनी जिम्मेदारियों से भाग रहे हैं. इसीलिए मेरा प्रस्ताव है कि जो सांसद काम नहीं करते उनकी सैलरी कांटी जानी चाहिए, जिसका साफ मतलब है कि नो वर्क नो सेलेरी.
मनोज तिवारी के लेटर को लेकर तेलंगाना राष्ट्रीय समिति की कविता कलवाकुंतला का कहना है कि यदि सरकार अपना काम करें तो सांसदों को प्रोटेस्ट करने की जरूरत ही नहीं पड़े. ये तो वहीं बात ही कि उल्टा चोर कोतवाल को डांटे. कविता कलवाकुंतला ने ट्वीट के जरिए कहा कि कोई भी सांसद विरोध न करें अगर सरकार अपना काम समय से करती रही.
कर्नाटक चुनावः AAP ने जारी की उम्मीदवारों की पहली सूची, IAS से लेकर ऑटो वाले तक को मिला टिकट
अखिलेश यादव से मिले शरद यादव, बोले- डूबता जहाज है एनडीए इसीलिए सभी दल छोड़ रहे साथ