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आसाराम बापू को जेल से मिली आज़ादी, सुप्रीम कोर्ट ने दी 31 मार्च तक अंतरिम जमानत

नाबालिग के साथ रेप के मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहे आसाराम बापू को जेल से आज़ादी मिल गई है. आसाराम के खिलाफ यह मामला 2013 में सामने आया था, जब नाबालिग लड़की के माता-पिता ने उस पर दुष्कर्म का आरोप लगाते हुए FIR दर्ज कराई थी।

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  • January 7, 2025 1:33 pm Asia/KolkataIST, Updated 1 day ago

नई दिल्ली: नाबालिग के साथ रेप के मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहे आसाराम बापू को जेल से आज़ादी मिल गई है. बता दें आसाराम बापू मेडिकल ग्राउंड पर 31 मार्च तक अंतरिम जमानत मिल गई है. अंतरिम जमानत के साथ- साथ कोर्ट ने आसाराम को सख्त निर्देश दिए है कि वह अपने अनुयायियों से नहीं मिलेंगे. इसके अलावा सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए पुलिसकर्मियों की तैनाती के निर्देश भी दिए गए हैं।

आसाराम, जो जोधपुर सेंट्रल जेल में बंद था, अब भगत की कोठी स्थित आरोग्य चिकित्सा केंद्र में भर्ती है। बताया गया है कि आसाराम दिल की बीमारी से पीड़ित है और उसे पहले भी हार्ट अटैक आ चुका है।

2013 में दर्ज हुआ था मामला

आसाराम के खिलाफ यह मामला 2013 में सामने आया था, जब नाबालिग लड़की के माता-पिता ने उस पर दुष्कर्म का आरोप लगाते हुए FIR दर्ज कराई थी। आरोप था कि लड़की, जो छिंदवाड़ा के गुरुकुल में पढ़ती थी, उसको इलाज के बहाने जोधपुर स्थित आश्रम लाया गया। यहां आसाराम ने कुटिया में बुलाकर उसके साथ दुष्कर्म किया। इसके बाद 31 अगस्त 2013 को आसाराम को इंदौर से गिरफ्तार कर लिया गया था।

परिवार पर भी गंभीर आरोप

नाबालिग से दुष्कर्म का मामला सामने आने के बाद दो बहनों ने भी आसाराम और उसके बेटे नारायण साईं पर दुष्कर्म के आरोप लगाए। वहीं 2001 से 2006 के बीच हुए इन अपराधों में सूरत और अहमदाबाद में मामले दर्ज किए गए। इसके बाद अदालत ने 2018 में जोधपुर की अदालत ने नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में आसाराम को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। वहीं नारायण साईं को भी 2019 में दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनाई।

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