बुलडोजर कार्रवाई के बाद जहांगीरपुरी पहुंचे AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी

नई दिल्ली, बीते दिनों हनुमान जयंती के मौके पर दिल्ली के जहांगीरपुरी में जमकर हिंसा हुई, जिसके बाद आरोपितों की गिरफ्तारी भी की गई और आज बुधवार को जहांगीरपुरी में एमसीडी का बुलडोज़र चला. अब इस बुलडोजर कार्रवाई के बाद AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी जहांगीरपुरी पहुँच गए हैं. ओवैसी के आने की जानकारी मिलते ही […]

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बुलडोजर कार्रवाई के बाद जहांगीरपुरी पहुंचे AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी

Aanchal Pandey

  • April 20, 2022 7:39 pm Asia/KolkataIST, Updated 3 years ago

नई दिल्ली, बीते दिनों हनुमान जयंती के मौके पर दिल्ली के जहांगीरपुरी में जमकर हिंसा हुई, जिसके बाद आरोपितों की गिरफ्तारी भी की गई और आज बुधवार को जहांगीरपुरी में एमसीडी का बुलडोज़र चला. अब इस बुलडोजर कार्रवाई के बाद AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी जहांगीरपुरी पहुँच गए हैं. ओवैसी के आने की जानकारी मिलते ही जहांगीरपुरी पर भारी पुलिस बल की तैनाती की गई है. पुलिस ने पूरे इलाके में बैरिकेडिंग लगा दी है, साथ ही किसी को भी अंदर जाने की इजाज़त नहीं दी जा रही है.

अंसार, अहमद पर बुलडोजर चलेगा लेकिन अर्जुन, अजय पर नहीं- ओवैसी

इससे पहले, ओवैसी ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि, “मैं यह पहले भी कह चुका हूं, अंसार, अहमद पर तो बुलडोजर चलेगा लेकिन अर्जुन, अजय पर नहीं चलेगा, यही अंतर है. अंसार भाजपा या आप में रहते हुए भी अंसार बने हुए हैं, यह विध्वंस तो चौकस न्यास है, देश में चुनाव आएंगे और जाएंगे लेकिन उनका क्या जो रमजान के दौरान सड़कों पर उतरे?” उन्होंने आगे कहा कि वो सुप्रीम कोर्ट के आभारी हैं कि सुप्रीम कोर्ट ने तुरंत ही मामले का संज्ञान लेते हुए बुलडोजर कार्रवाई पर तत्काल रोक लगा दी, लेकिन वे फिर भी रुके नहीं. ओवैसी ने आगे कहा कि ये लोग जनता को बांग्लादेशी और रोहिंग्या कह रहे हैं? लेकिन वे भारतीय हैं.

इस मुद्दे पर क्यों चुप हैं केजरीवाल- ओवैसी

इससे पहले AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने बीजेपी के इस फैसले को गरीबो के खिलाफ एक तरह से जंग बताया है. उन्होंने कहा कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल भी इस मुद्दे पर चुप है. ओवैसी ने इस मुद्दे पर ट्वीट कर लिखा कि, “भाजपा ने गरीबों के खिलाफ जंग का ऐलान कर दिया है, बीजेपी अतिक्रमण के नाम पर यूपी और एमपी की तरह दिल्ली में भी घरों को तबाह करने जा रही है. कोर्ट से कोई नोटिस नहीं, अदालत जाने का मौका नहीं, बस गरीब लोगों (मुसलमानो ) को ज़िदा रहने की यह सजा मिल रही है.”

उन्होंने कहा कि दिल्ली के मुख्यमंत्री को इस मुद्दे पर अपनी संदिग्ध भूमिका को स्पष्ट करना चाहिए, क्या उनकी सरकार का पीडब्ल्यूडी इस ‘विध्वंस अभियान’ का हिस्सा है? क्या जहांगीरपुरी के लोगों ने उन्हें इस तरह के विश्वासघात और कायरता के लिए ही उन्हें वोट दिया था? उनका बार-बार बचना और ये कहना कि ‘पुलिस हमारे नियंत्रण में नहीं है’ यहां काम नहीं करेगा.

 

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